कांग्रेस की बुकलेट में विवादास्पद दावा- सावरकर और गोड्से में था समलैंगिक संबंध, बीजेपी भड़की
मीडिया रिपोर्ट
भारतीय जनता पार्टी कांग्रेस सेवा दल की तरफ से बांटी गई उस बुकलेट पर भड़क गई है, जिसमें हिन्दुत्व के पुरोधा माने जाने वाले दक्षिणपंथी विचारक वीर सावरकर पर आपत्तिजनक बातें बताई गई हैं। हालांकि, सेवादल के प्रमुख लालजी देसाई ने कहा है कि विवाद आधारहीन है और सारी बातें एक पुस्तक का संदर्भ देकर लिखी गई हैं। भोपाल में कांग्रेस के सेवादल के 11 दिनों का शिविर शुरू होने से पहले उसकी बुकलेट 'वीर सावरकर कितने वीर' विवादों में आ गई। इसमें कहा गया कि वीर सावरकर और महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोड्से के बीच समलैंगिक संबंध थे।
बुकलेट में वीर सावरकर के बारे में कई विवादति दावे किए गए हैं। लिखा गया है- 'ब्रह्मचर्य का व्रत लेने से पहले नाथूराम गोडसे के एक ही शारीरिक संबंध का ब्योरा मिलता है वीर सावरकर से।' बुकलेट में यह दावा भी किया गया है कि सावरकर ने अल्पसंख्यक समुदाय की महिलाओं पर यौन हिंसा को बढ़ावा दिया और मुस्लिमों की मौत पर उत्सव मनाते थे। पुस्तिका में यह दावा भी है कि अंडमान की सेल्यूलर जेल से रिहा होने के बाद सावरकर ने अंग्रेजों से पैसे तक लिए थे।
इस पूरे विवाद पर देसाई का कहना है कि सावरकर पर की गईं टिप्पणियां डोमिनिक लेपियर और लैरी कॉलिन्स की किताब 'फ्रीडम ऐट मिडनाइट' से सीधे ली गई है। उन्होंने कहा कि फ्रीडम ऐट मिडनाइट' में लिखा है कि ब्रह्मचर्य धारण करने से पहले गोडसे का अपने राजनीतिक गुरु सावरकर से समलैंगिक संबंध था। देसाई ने कहा, 'बेवजह विवाद पैदा किया जा रहा है। यह बुकलेट एक साल से ज्यादा समय से सर्कुलेशन में है और जिस चीज को लेकर विवाद है वह एक प्रसिद्ध किताब से ली गई है। मैं केवल इतना कह सकता हूं कि हमने आरएसएस को प्रतिक्रिया देने के लिए बाध्य कर दिया है।' उन्होंने कहा कि यह बुकलेट हमारे कैडरों के लिए है।
भारतीय जनता पार्टी ने कांग्रेस सेवादल के इन आरोपों को लेकर करारा हमला किया है। मध्य प्रदेश की बीजेपी यूनिट के अध्यक्ष राकेश सिंह ने कांग्रेस की तीखी आलोचना की है। सिंह ने कहा कि कांग्रेस देशभक्तों को बदनाम कर रही है, खासकर उनको जो बहुसंख्यक समाज के हितैषी थे।
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