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रायपुर : छत्तीसगढ़ व्यावसायिक परीक्षा मण्डल द्वारा संचालनालय कृषि छत्तीसगढ़ नवा रायपुर के अंतर्गत सहायक सांख्यिकी अधिकारी एवं प्रयोगशाला सहायक भर्ती परीक्षाओं (KASL23) का आयोजन दिनांक 20 अक्टूबर 2024 (रविवार) को दो पालियों में किया जाना था, जिसे अपरिहार्य कारणवश स्थगित किया गया है। -
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रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय से आज यहां मंत्रालय महानदी भवन स्थित उनके कार्यालय कक्ष में बिहार के वन एवं सहकारिता मंत्री डॉ. प्रेम कुमार ने सौजन्य मुलाकात की। इस अवसर पर छत्तीसगढ़ के वन मंत्री श्री केदार कश्यप भी उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने डॉ. प्रेम कुमार का छत्तीसगढ़ में हार्दिक स्वागत किया। डॉ. प्रेम कुमार आज से राजधानी रायपुर में आयोजित होने वाले 27 वें अखिल भारतीय वन खेलकूद महोत्सव के शुभारंभ समारोह में शामिल होने रायपुर आए हैं। वे छत्तीसगढ़ की लघु वनोपज खरीदी व्यवस्था और धान उपार्जन व्यवस्था का भी जायजा लेंगे। -
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सभी जिला कलेक्टरों को प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित करने के निर्देशरायपुर : त्रिस्तरीय पंचायतों एवं नगरीय निकायों के आम/उप निर्वाचन 2024-25 हेतु निर्वाचक नामावली तैयार एवं पुनरीक्षण किये जाने का कार्यक्रम प्रक्रियाधीन है। राज्य निर्वाचन आयुक्त श्री अजय सिंह ने सभी जिला के कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्वाचक नामावली कार्यक्रम का व्यापक प्रचार-प्रसार सुनिश्चित करने कहा है, जिससे शुद्ध एवं त्रुटिरहित निर्वाचक नामावली तैयार की जा सके।उन्होंने बताया कि नगरीय निकायों हेतु प्रारंभिक निर्वाचक नामावली का प्रकाशन 16 अक्टूबर 2024 एवं त्रिस्तरीय पंचायत हेतु प्रारंभिक निर्वाचक नामावली प्रकाशन 24 अक्टूबर 2024 निर्धारित है। निर्वाचन आयुक्त श्री अजय सिंह ने सभी कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्वाचक नामावली के प्रचार-प्रसार के साथ ही 16 अक्टूबर को अपने-अपने जिले में प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित कर मीडिया के माध्यम से निर्वाचन से जुड़ी जानकारी देने कहा है।
निर्वाचन आयुक्त श्री अजय सिंह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से प्रारंभिक प्रकाशन हेतु चिन्हांकित विविध स्थानों की जानकारी, दावें एवं आपत्तियों को प्राप्त करने हेतु निर्धारित स्थलों की पंचायतवार, निकायवार एवं वार्डवार कुल संख्या की विस्तृत जानकारी देने कहा है। इसी तरह दावें एवं आपत्तियों को प्राप्त करने तथा उनका निराकरण करने हेतु निर्धारित तिथियां, निर्वाचक नामावली के अंतिम प्रकाशन के संबंध में जानकारी तथा पुनरीक्षण कार्यक्रम के संबंध में जिले द्वारा ‘जाबो’ अंतर्गत किये गये जागरूकता संबंधी कार्य सहित निर्वाचन संबंधी आवश्यक विषय पर जानकारी मीडिया को देने कहा है। जिससे मीडिया के माध्यम से निर्वाचन संबंधी जानकारियां लोगो तक पहुंच सके। -
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राज्य निर्वाचन आयुक्त श्री अजय सिंह ने समस्त जिला निर्वाचन अधिकारियों को समय-सीमा में कार्यवाही करने के दिए निर्देशरायपुर : राज्य में स्थानीय नगरीय निकाय के निर्वाचन हेतु 16 अक्टूबर को मतदाता सूची का प्रारंभिक प्रकाशन किया जाएगा। छत्तीसगढ़ के राज्य निर्वाचन आयुक्त श्री अजय सिंह ने राज्य के समस्त जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्देशित किया है कि आयोग द्वारा निर्वाचक नामावली तैयार किए जाने हेतु जारी कार्यक्रम के अनुसार सभी कार्यवाही सुनिश्चित करें। राज्य के 167 नगरीय निकायों में निर्वाचन होना है। आयोग द्वारा सभी जिला निर्वाचन अधिकारियों को मतदाता सूची शुद्ध एवं निर्धारित समय-सीमा में पूर्ण करने तथा 01 जनवरी 2024 की स्थिति में 18 वर्ष की आयु पूर्ण करने वाले का नाम मतदाता सूची में जोड़ने के निर्देश दिए गए हैं।
निर्वाचन आयुक्त श्री अजय सिंह ने बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य में नगरीय निकाय चुनाव की तैयारियों ने जोर पकड़ लिया है। इस संदर्भ में एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में 16 अक्टूबर 2024 को मतदाता सूची का प्रारंभिक प्रकाशन किया जाएगा। यह सूची नगरीय निकायों के चुनाव के लिए बनाई जा रही है, जिसमें सभी पात्र मतदाताओं के नाम शामिल होंगे।
प्रारंभिक प्रकाशन के बाद सुधार का अवसर प्रारंभिक मतदाता सूची के प्रकाशन के बाद, मतदाता अपने नाम की जांच कर सकेंगे। यदि किसी मतदाता का नाम सूची में नहीं है या उसमें किसी प्रकार की त्रुटि है, तो वे इसकी शिकायत कर सकते हैं। निर्वाचन आयोग ने इसके लिए एक विशेष प्रक्रिया निर्धारित की है, जिसके तहत मतदाता सुधार, नाम जुड़वाने या हटाने के लिए आवेदन कर सकेंगे।
आयोग द्वारा पूर्व में जारी कार्यक्रम के अनुसार निर्वाचक नामावली का प्रारंभिक प्रकाशन एवं दावे तथा आपत्तियां प्राप्त करना एवं मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों को निर्वाचक नामवली उपलब्ध कराना बुधवार 16 अक्टूबर 2024 तक, दावा/आपत्तियां प्राप्त करने की अंतिम तारीख व समय बुधवार 23 अक्टूबर 2024 को दोपहर 3 बजे तक, दावा/आपत्तियों का निपटारे की अंतिम तारीख मंगलवार 29 अक्टूबर 2024 तक, प्ररूप क-1 में रजिस्ट्रीकरण अधिकारी/सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी को दावा प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि सोमवार 04 नवम्बर 2024 तक तथा प्ररूपः क-1 में प्राप्त दावा का निराक़रण करने की अंतिम तिथि शुक्रवार 08 नवम्बर 2024 तक निर्धारित की गई है।
इसी तरह दावे/आपत्तियों के निराकरण आदेश के विरूद्ध अपील करने की अंतिम तारीख निराकरण आदेश पारित होने के 05 दिवस के भीतर तथा परिवर्धन, संशोधन, विलोपन के प्रकरणों की प्रविष्टि सॉफ्टवेयर में करना बुधवार 13 नवम्बर 2024 तक, चेकलिस्ट का निर्वाचन रजिस्ट्रीकरण अधिकारी द्वारा जांच करवाना तथा पी. डी.एफ. मुद्रण हेतु जिला कार्यालयं को सौंपना शनिवार 16 नवम्बर 2024 तक, अनुपूरक सूची का मुद्रण कराना और अनुपूरक सूची को मूल सूची के साथ संलग्र करना मंगलवार 19 नवम्बर 2024 तक निर्धारित किया गया है तथा निर्वाचक नामावली का अंतिम प्रकाशन शुक्रवार 22 नवम्बर 2024 को किया जाएगा। -
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महिला बाल विकास मंत्री श्रीमती राजवाड़े मुख्य अतिथि के रूप में होंगी शामिलरायपुर : छत्तीसगढ़ को बाल विवाह मुक्त बनाने के उद्देश्य से 16 अक्टूबर को राज्य स्तरीय कंसलटेशन कार्यशाला का आयोजन राजधानी रायपुर के स्थानीय होटल में किया जा रहा है। इस कार्यक्रम की मुख्य अतिथि महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती लक्ष्मी राजवाड़े होंगी। कार्यशाला महिला एवं बाल विकास विभाग और यूनिसेफ छत्तीसगढ़ के सहयोग से आयोजित की जा रही है। कार्यशाला सुबह 10 बजे से शुरू होगा, जिसमें विभिन्न विभागों के प्रतिनिधि भाग लेंगे।उल्लेखनीय है कि बाल विवाह मुक्त छत्तीसगढ़ अभियान की शुरुआत मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय द्वारा 10 मार्च 2024 को की गई थी, जिसका उद्देश्य बाल विवाह की सामाजिक बुराई को जड़ से समाप्त करना है। इस अभियान को सफल बनाने के लिए सभी विभागों को एक समन्वित रणनीति भेजी गई है। कंसलटेशन कार्यशाला का उद्देश्य विभागों के बीच परस्पर समन्वय बढ़ाना और बाल विवाह की रोकथाम के लिए प्रयासों को मजबूत करना है।सभी विभागों को निर्देशित किया गया है कि वे अपने दो अधिकारियों को इस कार्यक्रम के लिए नामांकित करें और उनकी उपस्थिति सुनिश्चित करें। यह कार्यशाला छत्तीसगढ़ में बाल विवाह के उन्मूलन की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जो समाज को जागरूक करने और बच्चों के अधिकारों की रक्षा करने के लिए राज्य सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। -
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लोगों से काम, क्रोध, मद, लोभ रूपी रावण का वध करने का आह्वानडब्ल्यूआरएस कॉलोनी में रावण दहन कार्यक्रम में हुए शामिलप्रदेशवासियों को दशहरा पर्व की दी शुभकामनाएंरायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने आज रायपुर के डब्ल्यूआरएस कॉलोनी के मैदान में दशहरा पर्व के अवसर पर हजारों की संख्या में जनसमुदाय को सम्बोधित करते हुए कहा कि यह पर्व असत्य पर सत्य और बुराई पर अच्छाई की जीत का पर्व है। हम लोग हर साल रावण का वध करते है, परंतु इस पर्व की सार्थकता तभी है, जब हम काम, क्रोध, मद, लोभ रूपी रावण, जो हमारे मन में है, उसका वध करें।मुख्यमंत्री ने कहा कि माता कौशल्या की नगरी और भांचा श्रीराम के ननिहाल छत्तीसगढ़ में रावण रूपी जो भी बुराई है, उसको हम सब मिलकर दूर करने का संकल्प लेना होगा। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर भगवान श्रीराम के जयकारे के बीच रिमोट का बटन दबाकर रावण, कुम्भकर्ण और मेघनाथ के विशालकाय पुतले का दहन किया।
मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में मौजूद लोगों को विजयादशमी पर्व की बधाई और शुभकामनाएं देते हुए कहा कि बीते 53 वर्षों से डब्ल्यूआरएस कालोनी में रावण वध का कार्यक्रम आयोजित हो रहा है। इस साल का यह कार्यक्रम हम सब लोगों के लिए विशेष है क्योंकि 500 सालों के बाद छत्तीसगढ़ के भांचा भगवान श्रीराम जो भव्य मंदिर में प्रतिष्ठित हुए है। यह हम सबके लिए गौरव और प्रसन्नता की बात है।
रावण वध का कार्यक्रम पारंपरिक ढंग आयोजित हुआ। इस मौके पर भगवान राम और रावण की युद्ध गाथा का मंचन हुआ और अंत में रावण के विशालकाय पुतले का दहन कर बुराई पर अच्छाई की जीत का संदेश दिया गया। कार्यक्रम स्थल पर आतिशबाजी और उत्सव का माहौल रहा। उपस्थित लोगों ने रावण दहन के बाद हर्षाेल्लास के साथ एक-दूसरे को विजयादशमी की बधाई दी।
कार्यक्रम को रायपुर उत्तर के विधायक श्री पुरंदर मिश्रा ने भी सम्बोधित किया। इस अवसर पर पूर्व विधायक श्री कुलदीप सिंह जुनेजा, श्री जयंती भाई पटेल, श्री तोशेन्द्र देव साय, आयोजन समिति के प्रमुख श्री जी.स्वामी, कलेक्टर श्री गौरव कुमार सिंह, एसएसपी श्री संतोष सिंह, आयोजन समिति प्रमुख के पदाधिकारीगण सहित हजारों की संख्या में लोग उपस्थित थे। -
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साक्षात्कार स्थगितरायपुर : छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग द्वारा राज्य सेवा परीक्षा-2023 के अंतर्गत 242 पदों के लिए निर्धारित दस्तावेज सत्यापन और साक्षात्कार कार्यक्रम जो 14 अक्टूबर 2024 से 5 नवंबर 2024 के बीच होना था, स्थगित कर दिया गया है। यह निर्णय आयोग में नए सदस्यों और कार्यकारी अध्यक्ष की नियुक्ति के बाद बोर्ड का पुनर्गठन करने के कारण लिया गया है। छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग के परीक्षा नियंत्रक से मिली जानकारी के अनुसार संशोधित साक्षात्कार और दस्तावेज सत्यापन की नई तिथियों की घोषणा जल्द ही आयोग की आधिकारिक वेबसाइट www.psc.cg.gov.in पर जारी की जाएगी। -
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रायपुर : छत्तीसगढ़ राज्य वक्फ बोर्ड के बैठक में बोर्ड के सदस्यों द्वारा सर्वसम्मति से डॉ. सलीम राज को राज्य वक्फ बोर्ड का निर्विरोध अध्यक्ष चुना गया। राज्य वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. सलीम राज ने कहा कि वक्फ बोर्ड अपने उद्देश्यों के अनुरूप काम करें। इसके लिए मुतवल्लियों से चर्चा कर वक्फ बोर्ड की योजनाओं का सफल क्रियान्वयन, भू-माफियाओं एवं अतिक्रमणकारियों से वक्फ सम्पत्तियों को सुरक्षित करने के साथ ही वक्फ की योजनाओं का सीधा लाभ सामाजिक एवं कमजोर वर्ग के शैक्षणिक विकास के लिए किया जाएगा।
डॉ. सलीम राज ने राज्य वक्फ बोर्ड का अध्यक्ष बनने पर मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय एवं पिछड़ा वर्ग अल्पसंख्यक विकास मंत्री श्री रामविचार नेताम का आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर राज्य वक्फ बोर्ड के सदस्यगण, मुतवल्ली एवं मुस्लिम समाज के गणमान्य नागरिकों ने डॉ. सलीम राज को बधाई और शुभकामनाएं दी। -
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रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर सभी बेटियों को बधाई और उनके उज्जवल भविष्य के लिए शुभकामनाएं दी हैं। उन्होंने अपने बधाई संदेश में कहा है कि बालिकाओं के सामने आने वाली चुनौतियों का समाधान करने, उन्हें सशक्त करने और अपने अधिकारों के प्रति जागरूक करने के लिए हर साल 11 अक्तूबर को अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाया जाता है। यह दिन दुनिया भर में बालिकाओं के सामने आने वाली समस्याओं एवम उसके समाधान के प्रति जागरूकता को बढ़ाने का दिन है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि इस साल अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस का विषय ‘भविष्य के लिए बालिकाओं का दृष्टिकोण’ है। श्री साय ने कहा कि बेटियां देश-प्रदेश, समाज और परिवार का गौरव होती हैं। उन्हें सशक्त बनाने के लिए सुरक्षित और सहज माहौल देने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि हमारी बेटियां खूब पढें, निडर होकर आगे बढ़ें, अपने सपनों को साकार करें और घर-परिवार के साथ देश-प्रदेश की उन्नति में सहभागी बने, इसके लिए राज्य सरकार सदैव प्रयासरत है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ में महिलाओं के सम्मान की परम्परा है और हमारी बहन, बेटियों और माताओं के स्वास्थ्य और तरक्की के लिए बेहतर वातावरण निर्मित हो, इसके लिए शासन महतारी वंदन योजना,मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना, शुचिता योजना, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना सहित अनेक कल्याणकारी योजनाएं संचालित कर रही हैं। इसी कारण आज छत्तीसगढ़ की बेटियां हर क्षेत्र में आगे बढ़ रही हैं। -
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10 लाभार्थियों को आवास की प्रतीकात्मक चाबी भेंट कीखाद्य मंत्री ने हितग्राहियों को आवास स्वीकृति एवं गृह प्रवेश के लिए दी बधाई एवं शुभकामनाएंरायपुर : खाद्य मंत्री एवं महासमुंद जिले के प्रभारी मंत्री श्री दयालदास बघेल आज पटेवा में आयोजित जिला स्तरीय प्रधानमंत्री आवास मेला कार्यक्रम में शािमल हुए। मंत्री श्री बघेल ने मेले में जिले के 21 हजार से अधिक हितग्राहियों को पीएम आवास स्वीकृति पत्र प्रदान की। साथ ही नए स्वीकृत आवासों का प्रतीकात्मक भूमिपूजन किया तथा आवास पूर्ण हो चुके हितग्राहियों का गृह प्रवेश के लिए चाबी सौंपा कर बधाई एवं शुभकामनाएं दी।
मंत्री श्री बघेल ने कहा कि गरीबों के पक्के मकान का सपना को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय पूरा कर रहे हैं। मुख्यमंत्री बनते ही श्री साय ने प्रदेश के 18 लाख परिवारों के लिए पक्के मकान की स्वीकृति प्रदान की। इस कदम से राज्य के हजारों आवासहीन परिवारों को स्थायी घर मिल रहा है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की यह पहल गरीबों की बेहतरी के लिए महत्वपूर्ण है, और इसका लाभ जरूरतमंद परिवारों को सीधे मिल रहा है। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार गांव, गरीब और किसानों के विकास के लिए लगातार काम कर रही है।
मंत्री श्री बघेल ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय की सरकार में महिलाओं को परिवार और समाज में एक अलग पहचान मिली है। उन्होंने कहा कि प्रदेश की महिलाओं को महतारी वंदन योजना की राशि प्रतिमाह एक हजार रुपए उनके खाते में हस्तांतरित की जा रही है। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने अपनी संकल्प को पूरा करते हुए किसानों के दो वर्ष का बकाया धान बोनस राशि प्रदान किया और प्रति एकड़ 21 क्विंटल धान 3100 रूपए की दर से खरीदी करने का काम किया।
खाद्य मंत्री श्री दयालदास बघेल ने प्रधानमंत्री आवास योजना में उत्कृष्ट कार्य करने वाले सरपंच पटेवा श्रीमती जमुना सिन्हा सहित सचिवों व रोजगार सहायकों को प्रमाण पत्र देकर सम्मानित भी किया।
इस अवसर पर जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती उषा पटेल, पूर्व विधायक डॉ. विमल चोपड़ा, श्री सनम जांगड़े, पूर्व राज्य मंत्री श्री पूनम चंद्राकर कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह एवं जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक सहित अन्य जनप्रतिनिधि एवं ग्रामीण बड़ी संख्या में उपस्थित थे। -
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रायपुर : विजेता कॉम्प्लेक्स, न्यू राजेंद्र नगर स्थित शासकीय आवासीय परिसर में माँ दुर्गा की प्रतिमा की स्थापना नवरात्रि पर्व के शुभ अवसर पर की गई है। इस कार्यक्रम का आयोजन अध्यक्ष श्री नरेंद्र समरथ की अध्यक्षता में किया गया, जिसमें आशुतोष शर्मा, आर. डी. वर्मा, टीकम ध्रुव, निर्माण चौहान एवं अन्य समिति सदस्यों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। माँ दुर्गा पंडाल में स्थानीय निवासियों, अधिकारी, कर्मचारियों और समाज के गणमान्य व्यक्तियों ने भाग लिया, जिसमें माँ दुर्गा के प्रति श्रद्धा एवं आस्था प्रकट की गई। इस आयोजन में माँ दुर्गा के पूजा-अर्चना और भव्य आरती का आयोजन भी किया जा रहा है, जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने भाग लिया।
आयोजकों ने नवरात्रि के इस पावन पर्व पर सभी निवासियों से अपील की कि वे अधिक से अधिक संख्या में माँ दुर्गा के दर्शन हेतु उपस्थित हों और इस धार्मिक आयोजन को सफल बनाएं। इसके साथ ही नवरात्रि के दौरान सांस्कृतिक कार्यक्रमों और भजन संध्याओं का भी आयोजन किया जा रहा है। अध्यक्ष नरेंद्र समरथ, आशुतोष शर्मा, आर.डी.वर्मा, टीकम ध्रुव, निर्माण चौहान एवं अन्य सदस्यगणो ने अपना सहयोग दिया। -
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पीएम आवास योजना के हितग्राहियों को मकान की चाबी सौंपीगरियाबंद में 42 हजार से अधिक आवास पूर्ण, प्रतीक्षा सूची के परिवारों को भी मिलेगा आवासगरियाबंद में जिला स्तरीय आवास मेला सम्पन्नरायपुर : खाद्य मंत्री एवं गरियाबंद जिले के प्रभारी मंत्री श्री दयालदास बघेल आज जिले में गांधी मैदान स्थित मंगल भवन में आयोजित जिला स्तरीय आवास मेला कार्यक्रम में शामिल हुए उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की संकल्पना से आज गरीबों के स्वयं का आवास का सपना साकार हो रहा है। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय सरकार में आते ही सबसे पहला काम 18 लाख से अधिक प्रधानमंत्री आवास की स्वीकृति देने का काम किया।मंत्री श्री बघेल ने कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत राज्य के आवासहीन परिवारों को पक्का मकान उपलब्ध कराया जा रहा है। कार्यक्रम में महासमुंद लोकसभा सांसद श्रीमती रूपकुमारी चौधरी एवं राजिम विधायक श्री रोहित साहू विशेष रूप में शामिल हुए। इस अवसर पर श्री बघेल ने जनप्रतिनिधियों के साथ पीएम आवास योजना के अंतर्गत पूर्ण आवास के 10 हितग्राहियों को चाबी एवं नये स्वीकृत आवास के 10 हितग्राहियों को स्वीकृति आदेश प्रदान किया। मंत्री श्री बघेल ने इस मौके पर हितग्राहियों को नए मकान की बधाई एवं शुभकामनाएं दी।
खाद्य मंत्री श्री बघेल ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में भारत सरकार द्वारा गरीबों के आवास के सपने को पूरा किया जा रहा है। श्री मोदी द्वारा आवास देने की गारंटी को मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय पूर्ण करने के लिए संकल्पित है। इसी तारतम्य में राज्य में अधिकाधिक संख्या में नए आवासों की स्वीकृति की गई है। इससे जररूरतमंद गरीब परिवार आवास योजना से लाभान्वित हो रहे है। उन्होंने कहा कि आवास निर्माण में गड़बड़ी की शिकायत प्राप्त होने पर संबंधितों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जायेगी।कार्यक्रम में विभिन्न विभागों द्वारा शासकीय योजनाओं से संबंधित स्टॉल लगाये गये। प्रभारी मंत्री ने अतिथियों के साथ बच्चों को अन्नप्राशन, हितग्राहियों को श्रम कार्ड, आयुष्मान कार्ड, राशन कार्ड, स्वाइल हेल्थ कार्ड, उज्ज्वला गैस कनेक्शन एवं पोषण किट आदि का वितरण किया। कार्यक्रम में पोंड निवासी श्रीमती सरस्वती कमार के नवीन घर का मॉडल बनाया गया था। अतिथियों ने मॉडल घर का फीता काटकर लोकार्पण किया। साथ ही हितग्राही को मिठाई खिलाकर नए घर की बधाई दी।
इस अवसर पर कलेक्टर श्री दीपक कुमार अग्रवाल, जिला पंचायत सीईओ श्रीमती रीता यादव, नगर पालिका अध्यक्ष श्री अब्दुल गफ्फार मेमन, जनपद पंचायत अध्यक्ष श्रीमती लालिमा ठाकुर, जिला पंचायत सदस्य श्री फिरतुराम कंवर, नगर पालिका उपाध्यक्ष श्री सुरेन्द्र सोनटेके, वरिष्ठ नागरिक श्री राजेश साहू सहित अन्य जनप्रतिनिधि, अधिकारी-कर्मचारी एवं नागरिकगण उपस्थित थे। -
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रायपुर : पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम में आयोजित स्वच्छता ही सेवा कार्यक्रम में मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कहा कि पूरे देश में स्वच्छता ही सेवा पखवाड़ा मनाया जा रहा है। भगवान विश्वकर्मा जयंती और प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के जन्मदिन 17 सितम्बर से महात्मा गांधी की जयंती 2 अक्टूबर तक स्वच्छता ही सेवा पखवाड़ा कार्यक्रम का आयोजन हुआ। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने स्वच्छता को प्रोत्साहित करने हेतु 15 अगस्त 2014 को लाल किले की प्राचीर से सभी को स्वच्छता का संकल्प दिलाया था। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के आव्हान और स्वच्छता अभियान से हम सभी को गली-चौराहे, मोहल्ले, स्कूल, कार्यालय, सार्वजनिक स्थलों को स्वच्छ रखने के लिए प्रेरणा मिली। स्वच्छता अभियान ने पूरे प्रदेश मेें जनआंदोलन का स्वरूप ले लिया है। छत्तीसगढ़ को सुंदर एवं स्वच्छ बनाना हम सभी का नैतिक कर्तव्य है।मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि स्वच्छता को हम सभी को अपनी आदत में शामिल करने की जरूरत है। उन्होंने लोगों से छत्तीसगढ़ को सुंदर एवं स्वच्छ छत्तीसगढ़ बनाने का संकल्प लेने का आव्हान करते हुए ऑडिटोरियम में उपस्थित सभी को स्वच्छता की शपथ दिलायी । उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति महात्मा गांधी ने कहा था कि स्वतंत्रता के साथ ही स्वच्छता भी जरूरी है। बापू के सपने को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने हाथ में झाडू पकड़कर शुरूआत की।देश के लोग स्वच्छता अभियान में सहभागी बनें। स्वच्छता को सभी अपने आदत में शामिल करें। कार्यक्रम में उन्होंने स्वच्छता के क्षेत्र में एवं स्वच्छता ही सेवा 2024 अंतर्गत उत्कृष्ट कार्य करने वाले संस्थाओं और व्यक्तियों को सम्मानित किया। इस दौरान उन्होंने प्रधानमंत्री आवास योजना के हितग्राहियों को आवास की चाबी सौंपी। इसी तरह मच्छर उन्मूलन के लिए चलित वाहन तथा भव्य सशक्त सैन्य समारोह की गाड़ियों को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया।
वन मंत्री श्री केदार कश्यप ने कहा कि राज्य में स्वच्छता के लिए व्यापक तौर पर कार्य किए गए हैं। स्वच्छता की जिम्मेदारी हम सभी की है। हम सभी संकल्प ले कि स्वयं स्वच्छता पर ध्यान देंगे और लोगों को प्रेरित करेंगे। विगत 10 वर्षों में स्वच्छ भारत मिशन अंतर्गत किए जा रहे कार्यों से देश की तस्वीर बदली है।रायपुर सांसद श्री बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि गंदगी से विभिन्न प्रकार की बीमारियों का जन्म होता है। इन बीमारियों से बचने के लिए सफाई बहुत जरूरी है। देश के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने स्वच्छ भारत मिशन चलाकर सफाई का संदेश दिया है। गांधी के सपनोँ को पूरा करने हमारी सरकार आत्म निर्भर गांव के साथ साफ-सफाई पर पूरा ध्यान दे रहा है। स्वच्छता पखवाड़ा के इस समापन समारोह में सफाईकर्मियों, सफाई दीदियों और सफाई मित्रों का सम्मान किया जा रहा है।इस अवसर पर विधायकगण श्री पुरंदर मिश्रा, श्री मोती लाल साहू, नगर निगम प्रतिपक्ष नेता श्रीमती मीनल चौबे, सचिव नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग डॉ. बसव राजू एस., सचिव ग्रामोद्योग विभाग श्री यशवंत कुमार, संचालक नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग श्री कुंदन कुमार, संभागायुक्त श्री महादेव कांवरे, कलेक्टर रायपुर डॉ. गौरव कुमार सिंह, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री संतोष सिंह, आयुक्त नगर निगम रायपुर श्री अबिनाश मिश्रा, जिला पंचायत मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री विश्वदीप सहित बड़ी संख्या में सफाईकर्मी, सफाई दीदी और सफाई मित्र उपस्थित थे। -
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आलेख - लक्ष्मीकांत कोसरिया, डिप्टी डायरेक्टर जनसंपर्करायपुर : छत्तीसगढ़ वन विभाग ने हाल ही में पारिस्थितिक रूप से बेहद महत्वपूर्ण वन क्षेत्र की पहचान की है, जो दंतेवाड़ा वन मंडल के बचेली वन परिक्षेत्र में स्थित है और बीजापुर के गंगालूर वन परिक्षेत्र तक फैला हुआ है। इस विशेष वन क्षेत्र में कई प्राचीन वनस्पतियों की प्रजातियां पाई गयीं है, जो छत्तीसगढ़ राज्य की असाधारण जैव विविधता को प्रदर्शित करता है। इस क्षेत्र को वैज्ञानिकों और वन अधिकारियों ने जैव विविधता के लिए अत्यधिक समृद्ध और महत्वपूर्ण माना है। विशेषज्ञों के अनुसार, यह खोज न केवल इस क्षेत्र के पर्यावरणीय महत्व को दर्शाती है, बल्कि भविष्य में वन अनुसंधान और संरक्षण के प्रयासों को भी नई दिशा देगी।
मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने इस क्षेत्र की जैव विविधता को संरक्षित करने और वन अनुसंधान को बढ़ावा देने पर जोर दिया है। उन्होंने कहा कि इस खोज से राज्य को पर्यावरण संरक्षण के क्षेत्र में एक नई पहचान मिलेगी। सरकार इस क्षेत्र में शोध और अध्ययन के लिए विशेष प्रोत्साहन देगी, ताकि इन दुर्लभ प्रजातियों को संरक्षित रखा जा सके। वन विभाग के अधिकारियों के अनुसार, यह दुर्लभ वन क्षेत्र विशेष रूप से उन पौधों की प्रजातियों का घर है, जो करोड़ों साल पहले के समय में अस्तित्व में थीं। अब यह क्षेत्र न केवल वैज्ञानिक अध्ययन के लिए बल्कि पर्यटन के लिए भी आकर्षण का केंद्र बन सकता है।
समुद्र तल से 1,240 मीटर से अधिक की ऊंचाई पर स्थित यह वन क्षेत्र सबट्रॉपिकल ब्रॉड-लीव्ड हिल फॉरेस्ट (फॉरेस्ट टाइप 8) के रूप में वर्गीकृत किया गया है। खास बात ये है की यह छत्तीसगढ़ का सबसे ऊंचाई वाला वन क्षेत्र हो सकता है। जबकि राज्य में मुख्य रूप से मॉइस्ट एंड ड्राय डेसिड्युअस फॉरेस्ट्स (फॉरेस्ट टाइप 3 एंड 5) के लिए जाना जाता है, यह विशेष वन पैच ब्रॉड-लीव्ड हिल फॉरेस्ट एक नया पारिस्थितिक आयाम प्रस्तुत करता है।यहां की वनस्पति पश्चिमी घाट की वनस्पतियों से काफी हद तक मेल खाती है। कांगेर घाटी के जंगलों की तरह, यह क्षेत्र भी विभिन्न प्रकार की प्रजातियों से समृद्ध है। इसके अलावा, मानवजनित दबाव की कमी होने कारण इन प्रजातियों को बिना किसी बाधा के पनपने में मदद मिली है। इस क्षेत्र को एक ’जीवित संग्रहालय’ माना जा रहा है, क्योंकि यहां कई प्राचीन पौधों की प्रजातियां संरक्षित हैं, जो संभवतः प्रागैतिहासिक काल, यहां तक कि डायनासोर युग से संबंधित हो सकती हैं। यहां पाई गई कुछ वनस्पतियों की प्रजातियों को छत्तीसगढ़ में पहली बार दर्ज किया गया माना जा रहा है।
इस विशेष वन का तीन दिवसीय सर्वे अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (विकास एवं योजना) श्री अरुण कुमार पांडे, आईएफएस के नेतृत्व में किया गया। इस सर्वे दल में पर्यावरणविदों और वन अधिकारियों के साथ-साथ आईएफएस परिवीक्षाधीन अधिकारी श्री एस. नवीन कुमार और श्री वेंकटेशा एम.जी. भी शामिल थे। इसके अलावा, वाइल्डलाइफ ट्रस्ट ऑफ इंडिया के उप निदेशक डॉ. राजेंद्र प्रसाद मिश्रा और पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय, रायपुर के स्कूल ऑफ लाइफ साइंसेज के पूर्व विभागाध्यक्ष श्री एम.एल. नायक भी सर्वे टीम का हिस्सा थे।सर्वे के दौरान, टीम ने दुर्लभ और प्राचीन वनस्पतियों की कई प्रजातियों का दस्तावेजीकरण किया है, जिनमें ऐल्सोफिला स्पिनुलोसा (ट्री फर्न), ग्नेटम स्कैंडन्स, ज़िज़िफस रूगोसस, एंटाडा रहीडी, विभिन्न रुबस प्रजातियाँ, कैंथियम डाइकोकूम, ओक्ना ऑब्टुसाटा, विटेक्स ल्यूकोजाइलन, डिलेनिया पेंटागाइना, माचरेन्जा साइनेंसिस, और फिकस कॉर्डिफोलिया शामिल हैं। इनमें से माचरेन्जा साइनेंसिस प्रजाति संभवतः छत्तीसगढ़ के केवल इसी वनीय पहाड़ी क्षेत्र में पाई गई है।
प्रधान मुख्य वन संरक्षक एवं वन बल प्रमुख श्री व्ही. श्रीनिवास राव, आईएफएस ने इस विशेष वन क्षेत्र के बारे में कहा कि राज्य के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय एवं वन मंत्री श्री केदार कश्यप के मार्गदर्शन में छत्तीसगढ़ वन विभाग राज्य की समृद्ध जैव विविधता के संरक्षण के लिए लगातार प्रयासरत रहा है। बचेली का ये बेहद विशेष वन क्षेत्र राज्य वन विभाग की जैव विविधता के संरक्षण के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाता है। बचेली का ये विशेष वन भविष्य के अनुसंधान एवं इको-टूरिज्म के विकास के लिए महत्वपूर्ण संभावनाएं प्रस्तुत करता है। वन विभाग इस क्षेत्र की छिपी हुई जैव विविधता को और गहराई से समझने के लिए अधिक विस्तृत सर्वेक्षण करने की योजना बना रहा है। -
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ओड़िशा के खाद्य मंत्री श्री कृष्ण चंद्र पात्रा के नेतृत्व में आया है अध्ययन दलछत्तीसगढ़ की धान खरीदी व्यवस्था और पीडीएस सिस्टम को सराहाछत्तीसगढ़ सरकार की ओर से हर संभव मिलेगी मददरायपुर : छत्तीसगढ़ की तर्ज पर ओड़िशा में भी समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की जाएगी। ओड़िशा के खाद्य मंत्री श्री कृष्ण चंद्र पात्रा के नेतृत्व में आए अध्ययन दल ने आज छत्तीसगढ़ में धान खरीदी व्यवस्था और पीडीएस सिस्टम का अवलोकन किया और इसकी तारीफ की। श्री पात्रा ने बताया कि अब छत्तीसगढ़ की तर्ज पर ओड़िसा में भी किसानों से समर्थन मूल्य के साथ-साथ अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि के साथ धान की खरीदी की जाएगी। ओड़िसा के मुख्यमंत्री श्री मोहन मांझी ने पहले कैबिनेट की बैठक में ही इस संबंध में निर्णय लिया गया है।
ओड़िसा के खाद्य मंत्री श्री कृष्ण चंद्र पात्रा ने कहा कि सरल और सहज मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ में सुशासन की सरकार चल रही है। मुख्यमंत्री श्री साय की प्रशंसा करते हुए श्री पात्रा ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार जीरो टॉलरेंस की नीति में खरा साबित हो रही है। उन्होंने बताया कि ओड़िशा में भी भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने साय सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति अमल में लाई जाएगी।
ओड़िसा के खाद्य मंत्री श्री कृष्ण चंद्र पात्रा ने कहा कि छत्तीसगढ़ और ओड़िसा दोनों पड़ोसी राज्य है। डबल इंजन के सरकार के साथ दोनों राज्य तेज गति से विकास कर रही है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार की ओर मंत्रियों द्वारा हमें हर संभव मदद के लिए आश्वस्त किया गया है। ओड़िसा में धान खरीदी व्यवस्था और पीडीएस सिस्टम में जहां-जहां कमी पाई जाएगी। छत्तीसगढ़ राज्य के सिस्टम का अनुकरण कर योजनाओं का और बेहतर ढंग से क्रियान्वयन किया जाएगा।
श्री पात्रा ने कहा कि ओड़िशा में भी छत्तीसगढ़ की तर्ज पर धान खरीदी व्यवस्था लागू करने के लिए ओड़िशा का अध्ययन दल यहां आया है। उन्होंने छत्तीसगढ़ के खाद्य मंत्री श्री दयाल दास बघेल और सहकारिता मंत्री श्री केदार कश्यप से मुलाकात कर धान खरीदी व्यवस्था के संबंध में विस्तार से चर्चा की। साथ ही छत्तीसगढ़ शासन के संबंधित वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक कर पावर पॉइंट प्रेजेनटेशन के माध्यम से एक-एक तथ्यों का बारीकी से अध्ययन किया। अध्ययन दल द्वारा कृषि उपज मंडी, अनाज गोदाम और शासकीय उचित मूल्य की दुकानों में जीरो पॉइंट पर जाकर सिस्टम का गहन रूप से अध्ययन किया गया। -
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आगामी खरीफ विपणन वर्ष में 160 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी का अनुमानकिसानों से 21 क्विंटल प्रति एकड़ के मान से होगी धान की खरीदीपारदर्शी और निर्बाध धान खरीदी के लिए इलेक्ट्रानिक वेटिंग मशीन के उपयोग पर जोरनेफेड और एनसीसीएफ एजेंसी के माध्यम से मक्का खरीदी केन्द्र को भेजा जाएगा प्रस्तावजूट कमिश्नर और जेम के माध्यम से बारदाना खरीदी का निर्णयरायपुर : खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री दयाल बघेल की अध्यक्षता में आज महानदी भवन में आगामी खरीफ विपणन वर्ष 2024-25 में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी एवं कस्टम मिलिंग की नीति की समीक्षा कर सुझाव देने हेतु गठित मंत्रि-मंडलीय उप समिति की बैठक सम्पन्न हुई। बैठक में मंत्री-मंडलीय उप समिति के सदस्य वन एवं जलवायु परिवर्तन तथा सहकारिता मंत्री श्री केदार कश्यप, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण तथा 20 सूत्रीय कार्यान्वयन मंत्री श्री श्याम बिहारी जायसवाल और राजस्व एवं आपदा प्रबंधन मंत्री श्री टंक राम वर्मा शामिल हुए।खाद्य मंत्री श्री दयाल दास बघेल की अध्यक्षता में हुई बैठक में चालू खरीफ विपणन वर्ष में 160 लाख मीट्रिक धान खरीदने का अनुमान रखा गया है। इस वर्ष दिपावली का पर्व और राज्य स्थापना दिवस राज्योत्सव को ध्यान में रखते हुए धान खरीदी 15 नवम्बर से शुरू किए जाने के संबंध में भी चर्चा की गई। लेकिन राज्य मंत्रि परिषद की बैठक में ही इस आशय का अंतिम निर्णय लिया जाएगा। साथ ही प्रदेश के पंजीकृत किसानों से समर्थन मूल्य पर इलेक्ट्रॉनिक वेटिंग मशीन के माध्यम से प्रदेश के किसानों से 21 क्विंटल प्रति एकड़ के मान से धान खरीदी का निर्णय लिया गया है। सभी उपार्जन केन्द्रों को इलेक्ट्रॉनिक वेटिंग मशीन की व्यवस्था करने को भी कहा गया है।
बैठक में प्रदेश के किसानों से सुगमता पूर्वक धान खरीदने के लिए सभी आवश्यक सुविधाओं को सुदृढ़ करने पर भी व्यापक रूप से चर्चा की गई। बैठक में धान खरीदी सुव्यस्थित हो तथा किसानों को सरलता के साथ बारदाना उपलब्ध हो सकें इसके लिए जूट कमिश्नर और जेम के माध्यम से बारदाना खरीदी का निर्णय लिया गया है।
बैठक में धान उठाव और कस्टम मिलिंग, केन्द्रीय पूल और छत्तीसगढ़ नागरिक आपूर्ति निगम में चावल जमा कराने तथा परिवहन के संबंध में भी विस्तार पूर्वक चर्चा की गई। चर्चा के बाद यह निर्णय लिया गया कि पिछले वर्ष की भांति इस वर्ष भी धान खरीदी के साथ-साथ धान का उठाव किया जाएगा। 31 मार्च तक अनिवार्य रूप से धान उठाव का निर्णय लिया गया है।
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ में पिछले वर्ष समर्थन मूल्य पर रिकॉर्ड 144.92 लाख मीट्रिक टन धान की खरीदी हुई थी। वर्तमान में राज्य में 2058 सहकारी समितियां तथा 2739 धान उपार्जन केन्द्रों के माध्यम से आगामी खरीफ विपणन वर्ष में 160 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी का अनुमान लगाया गया है। धान खरीदी व्यवस्था के सुचारू रूप से संचालन के लिए कम्प्यूटर, इंटरनेट के साथ ही उपार्जन केन्द्र आने वाले किसानों के लिए बैठक व पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित करने को भी कहा गया है।
बैठक में अपर मुख्य सचिव श्रीमती ऋचा शर्मा, कृषि उत्पादन आयुक्त श्रीमती रेणु जी पिल्ले, वित्त सचिव श्री मुकेश बंसल, सचिव राजस्व श्री अविनाश चंपावत, उद्योग सचिव श्री रजत कुमार, मार्कफेड के प्रबंध संचालक श्री रमेश शर्मा और खाद्य नागरिक आपूर्ति निगम के प्रबंध संचालक, मण्डी बोर्ड के प्रबंध संचालक श्री महेन्द्र सवन्नी सहित संबंधित वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। -
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मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने उप निर्वाचन के लिए आरओ, एआरओ, नोडल और तकनीकी अधिकारियों के प्रशिक्षण को किया संबोधितनेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर्स और सीईओ कार्यालय के अधिकारियों ने आदर्श आचरण संहिता, नामांकन प्रक्रिया, निर्वाचन व्यय, एमसीएमसी,आईटी एप्स सहित विभिन्न प्रक्रियाओं की बारीकियों की दी जानकारीरायपुर : मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्रीमती रीना बाबासाहेब कंगाले ने आज विधानसभा उप निर्वाचन के लिए रिटर्निंग ऑफिसर, सहायक रिटर्निंग ऑफिसर, नोडल अधिकारियों और तकनीकी अधिकारियों के प्रशिक्षण को संबोधित किया। उन्होंने विधानसभा उप निर्वाचन के दौरान सभी प्रक्रियाएं पारदर्शिता और निष्पक्षता से संपन्न कराने को कहा। उन्होंने इसके लिए भारत निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों तथा निर्धारित प्रक्रियाओं का गंभीरता से पालन करने के निर्देश दिए। श्रीमती कंगाले ने प्रशिक्षण में कहा कि राज्य में विधानसभा की एक रिक्त सीट के लिए उप चुनाव होगा। इसके लिए जल्दी ही प्रक्रिया शुरू होगी। संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री पी.एस. ध्रुव भी प्रशिक्षण में उपस्थित थे।
मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्रीमती कंगाले ने कहा कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा उप चुनाव की तिथि की घोषणा के साथ ही इसके लिए आदर्श आचार संहिता प्रभावी हो जाएगी। उन्होंने निर्बाध और सुचारू निर्वाचन के लिए संबंधित अधिकारियों को विधानसभा क्षेत्र के सभी मतदान केंद्रों का निरीक्षण कर आवश्यक सुविधाओं का जायजा लेने को कहा। उन्होंने सभी मतदान केंद्रों में छाया, पेयजल, शौचालय, रैंप इत्यादि व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने बाधारहित उप चुनाव के लिए आपसी समन्वय से सक्रियता से काम करने को कहा। उन्होंने आज के प्रशिक्षण में ट्रेनर्स से चर्चा कर अपनी-अपनी शाखाओं से संबंधित शंकाओं का समाधान करने को कहा। रायपुर के कलेक्टर डॉ. गौरव कुमार सिंह और नगर निगम के आयुक्त श्री अबिनाश मिश्रा भी इस दौरान मौजूद थे।
मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा आयोजित एक दिवसीय प्रशिक्षण के दौरान नौ सत्रों में अधिकारियों को आदर्श आचरण संहिता, नामांकन प्रक्रिया, मीडिया प्रमाणन एवं अनुश्रवण समिति (एमसीएमसी), निर्वाचक नामावली, पोस्टल बैलेट, ईटीपीबीएस, निर्वाचन व्यय मॉनिटरिंग, जिला निर्वाचन प्रबंधन योजना (DEMP)), मतदान दलों एवं मतदान के दिन की व्यवस्थाओं, ईवीएम, मतगणना तथा निर्वाचन के दौरान प्रयुक्त आईटी एप्लीकेशन्स की बारीकियों की जानकारी दी गई। नेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर श्री पुलक भट्टाचार्य ने अधिकारियों को आदर्श आचरण संहिता के विभिन्न प्रावधानों के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि चुनाव प्रचार समाप्त होने के बाद जो व्यक्ति उस क्षेत्र के निवासी नहीं है, उसे क्षेत्र से बाहर जाना होगा। आदर्श आचार संहिता के प्रभावी रहने के दौरान जिले में किसी भी तरह के आयोजन के लिए प्रशासन से अनुमति लेनी होगी।
नेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर श्री यू.एस. अग्रवाल ने प्रशिक्षण के दौरान नामांकन की प्रक्रिया के बारे में विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने उम्मीदवारों की पात्रता, नामांकन के समय संलग्न किए जाने वाले दस्तावेजों, नामांकन शुल्क, नामांकन पत्रों की संवीक्षा, चुनाव चिन्ह आबंटन, उम्मीदवारों द्वारा दिए जाने वाले शपथ पत्रों तथा रिटर्निंग ऑफिसर के कार्यालय में नामांकन के लिए जरूरी व्यवस्थाओं के बारे में बताया। सहायक मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्रीमती शारदा अग्रवाल ने एमसीएमसी के कार्यों और कार्यप्रणाली के बारे में बताया कि आदर्श आचरण संहिता और निर्वाचन व्यय पर निगरानी के लिए प्रिंट मीडिया सेल, इलेक्ट्रॉनिक मीडिया सेल और सोशल मीडिया सेल का गठन करना है। उन्होंने इसके माध्यम से पेड न्यूज पर भी नजर रखने को कहा। उन्होंने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा निर्धारित तिथियों के बीच जनमत सर्वेक्षण और एक्जिट पोल प्रतिबंधित रहेगा।
उप मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री विनय अग्रवाल ने रिटर्निंग ऑफिसर, सहायक रिटर्निंग ऑफिसर और नोडल अधिकारियों को निर्वाचक नामावली, पोस्टल बैलेट और ईटीपीबीएस जारी करने की प्रक्रिया के बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने निर्वाचन के दौरान उपयोग होने वाले आईटी एप्लीकेशन्स और मोबाइल एप्स के बारे में भी बताया। उप मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री अपूर्व प्रियेश टोप्पो ने उम्मीदवारों के निर्वाचन व्यय की मॉनिटरिंग के दौरान रखी जाने वाली सावधानियों के बारे में बताया। सहायक मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री रूपेश वर्मा ने प्रशिक्षण में जिला निर्वाचन प्रबंधन योजना के साथ ही मतदान दलों और मतदान के दिन की व्यवस्थाओं तथा ईवीएम के बारे में जानकारी दी। नेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर श्री प्रणव सिंह ने अधिकारियों को मतगणना की तैयारियों, मतगणना केंद्र की व्यवस्थाओं और निर्वाचन परिणाम की घोषणा के बारे में बताया। -
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स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालयमनोरा के प्राचार्य निलंबितअमर्यादित एवं अशोभनीय व्यवहार का मामलारायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के निर्देश पर जशुपर जिले के मनोरा विकासखंड अंतर्गत स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय मनोरा के तत्कालिक प्राचार्य श्री आर.बी. निराला को आज निलंबित कर दिया गया है। श्री निराला द्वारा विद्यालय में कार्यरत महिला कर्मचारियों, शिक्षिकाओं एवं छात्राओं के साथ अमर्यादित एवं अशोभनीय व्यवहार करने की शिकायत मिली थी।इस संबंध में सरगुजा संभाग के कमिश्नर श्री गोविंद राम चुरेंद्र ने जिला जशपुर के स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय मनोरा के तत्कालीन प्राचार्य श्री आर.बी. निराला का निलंबन आदेश जारी किया।
गौरतलब है कि मनोरा विकासखण्ड के शासकीय हाईस्कूल गेड़ई के वर्तमान प्राचार्य श्री आर.बी. निराला के विरूद्ध स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय मनोरा में कार्यरत् महिला कर्मचारियों, शिक्षकों एवं छात्रों के साथ अमर्यादित एवं अशोभनीय व्यवहार किए जाने के संबंध में प्रस्तुत शिकायत की जांच अनुविभागीय अधिकारी राजस्व जशपुर से करायी गयी।
अनुविभागीय दण्डाधिकारी जशपुर के जाँच प्रतिवेदन में श्री निराला का आचरण महिलाओं के प्रति सम्मानजनक नहीं है, उनका व्यवहार अधीनस्थ महिला शिक्षकों, कर्मचारियों, छात्राओं के साथ शारीरिक एवं मानसिक उत्पीड़न की ओर इंगित पाया। श्री निराला का उक्त कृत्य छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (आचरण) नियम 1965 के नियम-3 के सर्वथा विपरीत है।उन्हें छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम 1966 के नियम 9 (1) (क) के तहत तत्काल प्रभाव से निलंबित किया गया है। निलंबन अवधि में श्री निराला का मुख्यालय कार्यालय जिला शिक्षा अधिकारी जशपुर नियत किया गया है। निलंबन अवधि में श्री निराला को नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ता की पात्रता होगी। -
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संघ की प्रबंध कार्यकारिणी का हुआ निर्वाचन
रायपुर : छत्तीसगढ़ राज्य वित्त सेवा अधिकारी संघ द्वारा कन्वेंशन हॉल, न्यू सर्किट हाऊस सिविल लाईन्स रायपुर में सम्मेलन व सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि वित्त सचिव श्रीमती शारदा वर्मा एवं अध्यक्षता संचालक कोष, लेखा एवं पेंशन श्री रितेश कुमार अग्रवाल ने की।
कार्यक्रम के प्रथम सत्र में छत्तीसगढ़ राज्य वित्त सेवा अधिकारी संघ की प्रबंध कार्यकारिणी का निर्वाचन संपन्न हुआ। जिसमें डॉ. अल्पना घोष निर्विरोध अध्यक्ष चुनी गई। उपाध्यक्ष पद पर श्रीमती किरण खरे एवं कोषाध्यक्ष पद पर श्री अनिल कुमार पाठक निर्वाचित हुए। इसी तरह सचिव पद पर श्री सचिन शर्मा एवं संयुक्त सचिव पद पर श्री भुवनेश्वर नायक निर्वाचित हुए।
कार्यक्रम के द्वितीय सत्र में सेवानिवृत्त अधिकारियों का सम्मान शॉल, श्रीफल व स्मृति चिन्ह देकर किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि सचिव वित्त श्रीमती शारदा वर्मा ने दिए अपने उद्बोधन में वित्त विभाग को राज्य शासन की रीढ़ बताते हुए राज्य वित्त सेवा के संवर्धन में संघ की भूमिका पर प्रकाश डाला। मुख्य अतिथि ने निर्वाचित कार्यकारिणी को बैज लगाया। संचालक कोष, लेखा एवं पेंशन ने वित्त विभाग में लागू किए जा रहे डिजिटल प्रणाली के महत्व पर प्रकाश डाला। अंत में आभार प्रदर्शन के साथ कार्यक्रम सम्पन्न हुआ। -
द न्यूज़ इंडिया समाचार सेवा
मुख्यमंत्री जी के निर्देश पर वित्त विभाग ने दी मंजूरीरायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के निर्देशानुसार शासकीय विभागों में रिक्त विभिन्न संवर्ग के पदों की भर्ती के लिए वित्त विभाग से मंजूरी से लेकर विज्ञापन जारी करने और परीक्षाओं के आयोजन के प्रक्रिया अनवरत रूप से जारी है। इसी तारतम्य में पुलिस विभाग में सहायक उपनिरीक्षक (एम) के 263 पदों पर भर्ती को वित्त विभाग ने मंजूरी दी है।
गौरतलब है कि गृह विभाग द्वारा सहायक उपनिरीक्षक (एम) की भर्ती के लिए प्रस्ताव वित्त विभाग को भेजा था, मुख्यमंत्री के निर्देश पर वित्त विभाग ने त्वरित कार्रवाई करते हुए इसकी स्वीकृति प्रदान कर दी है। सहायक उप निरीक्षक के विभिन्न रेंज में 213 पदों को मंजूरी दी गई है। इसमें पुलिस मुख्यालय सामान्य शाखा में 40, रायपुर रेंज में 20, बिलासपुर रेंज में 48, बस्तर रेंज में 28, दुर्ग रेंज में 10, सरगुजा रेंज में 35 और राजनांदगांव में 32 पद शामिल हैं। इसके साथ ही पुलिस मुख्यालय में कनिष्ठ श्रेणी, शीघ्रलेखक/सूबेदार (एम) के 50 पदों पर भर्ती को स्वीकृति दी गई है।
यहां यह उल्लेखनीय है कि गृह विभाग में सूबेदार, उप पुलिस निरीक्षक, प्लाटून कमांडर, नगर सैनिक सहित कुल 806 पदों पर भर्ती के लिए वित्त विभाग द्वारा पूर्व में स्वीकृति दी जा चुकी है। सहायक उपनिरीक्षक की भर्ती के लिए स्वीकृत पदों को शामिल करने के बाद गृह विभाग के अंतर्गत विभिन्न संवर्ग के कुल 1069 पदों की भर्ती की मंजूरी वित्त विभाग से मिल चुकी है। इनमें से कुछ संवर्ग के पदों की पूर्ति के लिए भर्ती की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गई है।
मुख्यमंत्री श्री साय के निर्देश के परिपालन में अब तक राज्य शासन के विभिन्न विभागों द्वारा कुल 3737 पदों पर भर्ती के लिए वित्त विभाग ने मंजूरी दी है, जिनमें लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग में 181, स्वास्थ्य विभाग में 1201, आदिम जाति कल्याण विभाग में 300, वन विभाग में 66, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग आजीविका मिशन के अंतर्गत विभिन्न संवर्ग के 237, विधि विभाग के अंतर्गत न्यायालयों में व्यवहार न्यायाधीश सहित अन्य संवर्ग के कुल 362 पदों की स्वीकृति के साथ ही कृषि विभाग के अंतर्गत 321 ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी की भर्ती प्रक्रिया जारी हैं। -
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प्रथम वाहिनी भिलाई में आयोजित प्रथम अखिल भारतीय वेटलिफ्टिंग प्रतियोगिता में शामिल हुए मुख्यमंत्रीइंडोर स्टेडियम के अधूरे कार्य को पूरा करने एक करोड़ रूपए की राशि प्रदान करने की घोषणारायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने कहा है कि छत्तीसगढ़ सरकार राज्य में खेलों के विकास तथा उसके संरक्षण एवं संवर्धन के लिए हरसंभव प्रयास कर रही है। राज्य के खिलाड़ियों को हर संभव मदद उपलब्ध कराई जा रही है। श्री साय आज भिलाई में प्रथम वाहिनी छत्तीसगढ़ सशस्त्र बल परिसर में आयोजित प्रथम अखिल भारतीय वेटलिफ्टिंग कलस्टर चैम्पियनशिप 2024-25 के समापन समारोह को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने प्रथम वाहिनी भिलाई में स्थित इंडोर स्टेडियम के अपूर्ण कार्य को पूरा करने के लिए एक करोड़ रूपए की राशि प्रदान करने की घोषणा भी की। गौरतलब है कि यह चैम्पियनशिप 23 सितम्बर से प्रारंभ हुई थी। खेल मंत्री श्री टंकराम वर्मा, सांसद श्री विजय बघेल, दुर्ग शहर के विधायक श्री गजेन्द्र यादव, अहिवारा के विधायक श्री डोमनलाल कोर्सेवाड़ा, पूर्व विधायक श्री लाभचंद बाफना सहित राज्य के पुलिस महानिदेशक श्री अशोक जुनेजा, भारतीय पुलिस कंट्रोल बोर्ड के प्रतिनिधि चेयरमेन श्रीमती विनीता शर्मा, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक श्री विवेकानंद सिन्हा, सेनानी प्रथम वाहिनी छत्तीसगढ़ सशस्त्र भिलाई श्री राजेश कुकरेजा सहित अन्य अतिथिगण उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री श्री साय ने पुलिस अधिकारियों एवं जवानों के खेल के प्रति लगाव एवं समर्पण की सराहना की। उन्होंने कहा कि पुलिस की व्यस्ततम सेवा के बावजूद आप लोग खेल के लिए समय निकाल पाते हैं, यह अत्यंत सराहनीय है। नियमित रूप से खेल खेलने से फिटनेस अच्छी रहती है। उन्होंने कहा कि हमारा देश अनेकता में एकता का देश है, जो कि खेल के माध्यम से चरितार्थ होता है। श्री साय ने वेटलिफ्टिंग खेल हमारे शरीर की असीम संभावनाओं के बारे में हमें बोध कराता है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने इस अवसर पर केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा राज्य में खेलो के संरक्षण एवं संवर्धन हेतु किये जा रहे कार्यों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि हम छत्तीसगढ़ में खेलों की अधोसंरचना को बेहतर बनाने की दिशा में लगातार काम कर रहे हैं। हम अभी बस्तरिया ओलंपिक का आयोजन करने जा रहे हैं। श्री साय ने कहा कि वर्षों बाद बस्तर में शांति लौट रही है और माओवाद प्रभावित क्षेत्रों में शांति कायम हो रही है। उन्होंने कहा कि जब शांति स्थापित होती है तो सांस्कृतिक गतिविधियां और खेल प्रतियोगिताएं भी आयोजित होती है। इसी कड़ी में हम सभी बस्तरिया ओलंपिक को लेकर बेहद उत्साहित है। मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ के पारम्परिक खेल को बढ़ावा देने के लिए हमने राज्य में छत्तीसगढ़ क्रीड़ा प्रोत्साहन योजना आरंभ करने का निर्णय लिया है। खेलों को बढ़ावा देने के लिए हम राज्य में लक्ष्मी बाई राष्ट्रीय शिक्षा संस्थान का सेंटर आरंभ करने जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमारा फोकस सभी खेलों पर है। इसके अंतर्गत एथलेटिक अकादमी, कब्बड्डी एकादमी, तीरंदाजी अकादमी के माध्यम से इन खेलों में प्रतिभाओं को बढ़ावा देने का कार्य रहे हैं।
श्री साय ने कहा कि भिलाई में आयोजित इस प्रतियोगिता में देश भर से आए खिलाड़ियों का स्वागत है। उन्होंने बेहतर आयोजन की सराहना की।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए खेल मंत्री श्री टंकराम वर्मा ने कहा कि राज्य सरकार की मंशा है कि छत्तीसगढ़ के खिलाड़ी खेल के क्षेत्र में उल्लेखनीय उपलब्धि हासिल कर देश एवं छत्तीसगढ़ राज्य का नाम रोशन करें। भारतीय पुलिस कंट्रोल बोर्ड के प्रतिनिधि चेयरमेन श्रीमती विनीता शर्मा ने इस बेहतरीन आयोजन की भूरी-भूरी सराहना की। पुलिस महानिदेशक श्री अशोक जुनेजा ने अखिल भारतीय वेटलिफ्टिंग कलस्टर चैम्पियनशिप प्रतियोगिता के महत्व एवं उद्देश्यों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि खेल हमारे शारीरिक और मानसिक विकास के लिए जरूरी हैं। कार्यक्रम में स्वागत भाषण अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक श्री विवेकानंद सिन्हा ने दिया। अखिल भारतीय वेटलिफ्टिंग कलस्टर चैम्पियनशिप में आयोजित विभिन्न खेलों के विजेताओं, उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों को सम्मानित किया गया। समारोह में प्रतियोगी खिलाड़ियों द्वारा आकर्षक मार्चपास्ट भी किया गया। इसके अलावा प्रतियोगिता में शामिल खिलाड़ियों द्वारा सुमधुर एवं रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी गई। कार्यक्रम में आभार प्रदर्शन प्रथम वाहिनी छत्तीसगढ़ सशस्त्र बल भिलाई के सेनानी श्री राजेश कुकरेजा ने किया। इस अवसर पर संभागायुक्त श्री एस.एन. राठौर, कलेक्टर सुश्री ऋचा प्रकाश चौधरी, पुलिस अधीक्षक श्री जितेन्द्र शुक्ला सहित अन्य जनप्रतिनिधि एवं पुलिस विभाग के वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे। -
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मुख्यमंत्री ने दुर्ग नगर निगम क्षेत्र के लिए 23 करोड़ रुपए की लागत के विकास कार्यों का किया भूमिपूजनइंदिरा मार्केट में मल्टीलेवल पार्किंग निर्माण, साईंस कॉलेज से दुर्ग रेलवे स्टेशन केनाल रोड सड़क चौड़ीकरण, चण्डी मंदिर से नया पारा चौक तक सड़क चौड़ीकरण की घोषणाशहर के प्रमुख चौराहों पर होगा पिंक शौचालय का निर्माणरायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने आज दुर्ग नगर के वार्ड नंबर-03 मठपारा में आयोजित विकास कार्यों के भूमिपूजन कार्यक्रम में दुर्ग के इंदिरा मार्केट में मल्टीलेवल पार्किंग निर्माण, साईंस कॉलेज से रेलवे स्टेशन केनाल रोड सड़क चौड़ीकरण, चण्डी मंदिर से नया पारा चौक तक सड़क चौड़ीकरण की घोषणा की। उन्होंने नगर के प्रमुख चौराहों में महिलाओं के लिए पिंक शौचालय के निर्माण की भी घोषणा की। सांसद एवं स्थानीय विधायक की मांग पर मुख्यमंत्री ने ये घोषणाएं की।मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में दुर्ग नगर निगम क्षेत्र के अंतर्गत 22 करोड़ 97 लाख रूपए की लागत के विभिन्न विकास कार्यों का भूमिपूजन किया। मुख्यमंत्री श्री साय ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि राज्य सरकार गांवों के साथ-साथ शहरों के विकास के लिए दृढ़ संकल्पित है। आज दुर्ग नगर निगम क्षेत्र में एक साथ लगभग 23 करोड़ रूपए की लागत के कार्यों का एक साथ भूमिपूजन किया गया, यह विकास के प्रति राज्य सरकार की प्रतिबद्धता की झलक है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की गारंटी पर विश्वास करके आम जनता ने हमें सरकार बनाने का मौका दिया। जनता ने हमें जो आशीर्वाद दिया है, मैं उनके प्रति धन्यवाद ज्ञापित करने के लिए आया हूं।
मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने कहा कि बीते 9 माह पर नजर डाले तो राज्य सरकार ने किसानों, महिलाओं और युवाओं के लिए कम समय में बहुत से उल्लेखनीय काम किए हैं। उन्होंने कहा कि जरूरमंद परिवारों के लिए प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत 18 लाख घरों का निर्माण किया जाएगा। महिला सशक्तिकरण को ध्यान में रखते हुए महतारी वंदन योजना के तहत लगभग 70 लाख महिलाओं को प्रतिमाह 1000 हजार रूपए की दर से वार्षिक 12 हजार रूपए आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है।तेंदूपत्ता संग्रहण दर को 4000 रुपए प्रति मानक बोरा से बढ़ाकर 5500 रूपए प्रति मानक बोरा किया गया है। प्रदेशवासियों को रामलला दर्शन योजना के तहत अयोध्या धाम यात्रा करायी जा रही है। जिसका लाभ छत्तीसगढ़ के श्रद्धालु उठा रहे हैं। कार्यक्रम की अध्यक्षता उपमुख्यमंत्री श्री अरूण साव ने की। सांसद श्री विजय बघेल, विधायक श्री गजेन्द्र यादव एवं विधायक श्री रिकेश सेन विशिष्ट अतिथि के रूप में कार्यक्रम में उपस्थित थे।उपमुख्यमंत्री श्री अरूण साव ने कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए कहा कि आज का यह अवसर बहुत इन्तजार के बाद आया है। प्रदेश में नगरों के विकास के लिए पैसे की कोई कमी नहीं होगी। 43 करोड़ 67 लाख के 167 कार्य पहले ही स्वीकृत हो गये हैं। उन्होंने कहा कि आज दुर्ग वासियों को बहुत बड़ी सौगात मिली है। इसके लिए उन्होंने दुर्ग वासियों को बधाई और शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में सरकार बनी है, तब से सभी काम सांय-सांय हो रहा है। सरकार के नेतृत्व में नगरीय विकास कार्यों के लिए राशि जारी की जा रही है। सबका साथ, सबका विकास के ध्येय के साथ बिना भेदभाव से योजना बनाकर उनका क्रियान्वयन किया जा रहा है। हमारा प्रदेश स्वच्छ व सुंदर बने इस दिशा में लगातार कार्य किया जा रहा है।
सांसद श्री विजय बघेल ने अपने संक्षिप्त उद्बोधन में कहा कि दुर्ग शहर के लिए यह सौभाग्य की बात है कि आज मुख्यमंत्री द्वारा लगभग 23 करोड़ रूपए की लागत के विभिन्न विकास कार्यो का भूमिपूजन किया गया। उन्होंने कहा कि यह हमारे लिए सौभाग्य का क्षण है। मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय की सरकार छत्तीसगढ़ में लगातार विकास के कार्य कर रही है। उनकी सराहना करते हुए हम गदगद हो जाते हैं।इस अवसर पर उन्होंने दुर्ग एवं भिलाई नगर में ऑडिटोरियम निर्माण एवं महिलाओं के लिए पिंक सुलभ शौचालय की मांग की। स्थानीय विधायक श्री गजेन्द्र यादव ने अपने स्वागत उद्बोधन में नगर के विकास की रूपरेखा प्रस्तुत की। साथ ही इंदिरा मार्केट में मल्टीलेवल पार्किंग और र्साइंस कालेज के पीछे केनाल रोड निर्माण की ओर मुख्यमंत्री जी का ध्यान आकृष्ट किये। उन्होंने आज विकास कार्यों के भूमिपूजन के लिए नगरवासियों को बधाई और शुभकामनाएं दी।
मुख्यमंत्री द्वारा विकास कार्यों का भूमिपूजन
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने दुर्ग नगर क्षेत्र में लगभग 23 करोड़ रूपए की लागत के विभिन्न विकास कार्यों का लोकार्पण किया। इन कार्यों में 1 करोड़ 98 लाख 39 हजार रूपए लागत के उरला में खेल मैदान का विकास कार्य, 88 लाख 47 हजार रूपए लागत केेे सड़क सुरक्षा हेतु राजेन्द्र पार्क चौक में विकास कार्य, 1 करोड़ 66 लाख 02 हजार रूपए लागत के विभिन्न स्थानों में वृक्षारोपण कार्य, 1 करोड़ 35 लाख 41 हजार रूपए लागत के विभिन्न वार्डों में 8 स्थानों पर डामरीकरण व 1 स्थान पर पेवर ब्लॉक, 1 करोड़ 99 लाख 43 हजार रूपए लागत के गया नगर 33 के.वी. पावर स्टेशन के पास डॉ. बी.आर. अम्बेडकर सर्वसमाज मांगलिक भवन निर्माण कार्य, 49 लाख 98 हजार रूपए लागत के वार्ड क्रमांक 15सतनाम भवन आयुर्वेदिक अस्पताल के पीछे सांस्कृतिक भवन निर्माण कार्य, 8 करोड़ 33 लाख रूपए लागत के शहर के विभिन्न वार्डों में कुल 59 कार्य (सड़क, नाली पुलिया निर्माण), 2 करोड़ 72 लाख 37 हजार रूपए लागत के वार्ड क्रमांक 32 शिक्षक नगर में वाटर सप्लाई पार्ट ए एवं बी, 25 लाख रूपए लागत के राजेन्द्र पार्क चौक पर भगवान बिरसा मुंडा की प्रतिमा स्थापना, 50 लाख रूपए लागत के गोंडवाना भवन के प्रथम तल में अतिरिक्त हॉल निर्माण कार्य, 2 करोड़ 14 लाख रूपए लागत के विधायक निधि अंतर्गत विभिन्न विकास कार्य तथा 65 लाख रूपए लागत के प्रभारी मंत्री निधि अंतर्गत विभिन्न विकास कार्य का भूमिपूजन शामिल है।
इस अवसर पर पूर्व विधायक श्री लाभचंद बाफना, नगर पालिक निगम दुर्ग के महापौर श्री धीरज बाकलीवाल, सभापति श्री राजेश यादव, पूर्व सभापति श्री दिनेश देवांगन, वरिष्ठ समाजसेवी श्री जितेन्द्र वर्मा, पार्षद श्री दीपक साहू, श्रीमती सत्यवती वर्मा, सुश्री जमुना साहू, श्री अजय वर्मा, श्री नरेन्द्र बंजारे, श्रीमती लीना देवांगन, श्रीमती उषा ठाकुर एवं अन्य जनप्रतिनिधि तथा संभागायुक्त श्री सत्यनारायण राठौर, आईजी श्री रामगोपाल गर्ग, कलेक्टर सुश्री ऋचा प्रकाश चौधरी, एसपी श्री जितेन्द्र शुक्ला, दुर्ग निगम आयुक्त श्री लोकेश चन्द्राकर एवं अन्य अधिकारी उपस्थित थे। -
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निर्वाचक नामावली का अंतिम प्रकाशन 22 नवम्बर को किया जाएगारायपुर : छत्तीसगढ़ राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा आज कोरिया जिला के नगर पंचायत पटना, बेमेतरा जिला के नगर पंचायत कुसमी तथा राजनांदगांव जिला के नगर पंचायत लाल बहादुर नगर में नगरीय निकाय आम निर्वाचन हेतु फोटोमुक्त निर्वाचक नामावली तैयार करने का कार्यक्रम जारी किया गया है। निर्वाचक नामावली का अंतिम प्रकशन 22 नवम्बर 2024 को किया जाएगा। राज्य के 172 नगरीय निकायों में आम निर्वाचन किया जाना है। गत दिवस 164 नगरीय निकायों के आम निर्वाचन हेतु निर्वाचक नामावली तैयार करने आयोग द्वारा कार्यक्रम जारी किया गया था। उक्त तीनों नगरीय में परिसीमन कार्य पूर्ण होने के फलस्वरूप आयोग द्वारा इन निकाय हेतु निर्वाचक नामावली तैयार करने कार्यक्रम जारी किया गया है।
राज्य निर्वाचन आयोग के सचिव डॉ. सर्वेश्वर नरेन्द्र भुरे ने बताया कि आज जारी कार्यक्रम अनुसार नामावली पुनरीक्षण 2 चरणों में पूरा किया जायेगा। जिसमें प्रथम चरण में रजिस्ट्रीकरण अधिकारी/सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारियों की नियुक्ति एवं प्रारंभिक प्रारूप निर्वाचक नामावली तैयार करने हेतु कर्मचारियों का चयन एवं नियुक्ति, निर्वाचक नामावली तैयार करने हेतु रजिस्ट्रीकरण अधिकारी/सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी/प्राधिकृत कर्मचारियों का प्रशिक्षण एवं भारत निर्वाचन आयोग की 01 जनवरी 2024 की स्थिति में तैयार अद्यतन विधानसभा की निर्वाचक नामावली जिला निर्वाचन कार्यालय से प्राप्त करना सोमवार 30 सितम्बर 2024 तक किया जाएगा।
इसी तरह विधानसभा की निर्वाचक नामावली स्थानीय वार्डवार पृथक कर रजिस्ट्रीकरण अधिकारियों को उपलब्ध कराना मंगलवार 01 अक्टूबर 2024 तक, प्रचलित परिसीमन के आधार पर रजिस्ट्रीकरण अधिकारी एवं सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी द्वारा निर्वाचक नामावली को वार्डवार एवं भागवार मार्किंग करना शुक्रवार 04 अक्टूबर 2024 तक निर्धारित किया गया है।
इसी तरह वार्डवार एवं भागवार चिन्हित निर्वाचकों को सॉफ्टवेयर के माध्यम से दर्शित वार्ड के संबंधित भाग के अनुभाग में शिफ्ट किया जाना सोमवार 07 अक्टूबर 2024 तक, निर्वाचक नामावली की चेकलिस्ट (पीडीएफ) तैयार करना मंगलवार 08 अक्टूबर 2024 तक, चेकलिस्ट (पीडीएफ) की जांच कराना, त्रुटि सुधार कराना गुरूवार 10 अक्टूबर 2024 तक, चेकलिस्ट संशोधन पश्चात् प्रारूप निर्वाचक नामावली मुद्रण हेतु जिला निर्वाचन कार्यालय को प्रदाय करना गुरुवार 11 अक्टूबर 2024 तक तथा जिला निर्वाचन कार्यालय द्वारा निर्वाचक नामावली का मुद्रण कराना एवं रजिस्ट्रीकरण अधिकारियों को उपलब्ध कराना सोमवार 14 अक्टूबर 2024 तक निर्धारित किया गया है।
इसी तरह द्वितीय चरण में निर्वाचक नामावली का प्रारंभिक प्रकाशन एवं दावे तथा आपत्तियां प्राप्त करना और मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों को निर्वाचक नामवली उपलब्ध कराना बुधवार 16 अक्टूबर 2024 तक, दावा/आपत्तियां प्राप्त करने की अंतिम तारीख बुधवार 23 अक्टूबर 2024 को दोपहर 3 बजे तक, दावा/आपत्तियों के निपटारे की अंतिम तारीख मंगलवार 29 अक्टूबर 2024 तक निर्धारित की गई है। इसी तरह प्ररूप क-1 में रजिस्ट्रीकरण अधिकारी/सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी को दावा प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि सोमवार 04 नवम्बर 2024 तक तथा प्ररूपः क-1 में प्राप्त दावा का निराक़रण करने की अंतिम तिथि शुक्रवार 08 नवम्बर 2024 तक निर्धारित की गई है।
इसी तरह दावे/आपत्तियों के निराकरण आदेश के विरूद्ध अपील करने की अंतिम तारीख निराकरण आदेश पारित होने के 05 दिवस के भीतर किया जाएगा। परिवर्धन, संशोधन, विलोपन के प्रकरणों की प्रविष्टि सॉफ्टवेयर में करना बुधवार 13 नवम्बर 2024 तक, चेकलिस्ट का निर्वाचन रजिस्ट्रीकरण अधिकारी द्वारा जांच करवाना तथा पी.डी.एफ. मुद्रण हेतु जिला कार्यालय को शनिवार 16 नवम्बर 2024 तक सौंपना होगा। अनुपूरक सूची का मुद्रण कराना और अनुपूरक सूची को मूल सूची के साथ मंगलवार 19 नवम्बर 2024 तक संलग्न करना निर्धारित किया गया है तथा निर्वाचक नामावली का अंतिम प्रकाशन शुक्रवार 22 नवम्बर 2024 को किया जाएगा। -
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अब तक 14.02 लाख मीट्रिक टन खाद और 9.43 लाख क्विंटल प्रमाणित बीज का वितरणचालू वर्ष में 13.68 लाख मीट्रिक टन खाद वितरण का है लक्ष्यराज्य में अब तक 1112.1 मि.मी. औसत वर्षा दर्जकिसानों को 6655 करोड़ रूपए का अल्पकालीन कृषि ऋण वितरितरायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के निर्देश पर कृषि मंत्री श्री रामविचार नेताम के मार्गदर्शन में प्रदेश के किसानों को उनकी मांग के अनुरूप सुगमता के साथ प्रमाणित खाद-बीज का वितरण किया जा रहा है। कृषि विभाग के अधिकारियों द्वारा इन पर निरंतर निगरानी रखी जा रही है। प्रदेश में अब तक लगभग शत-प्रतिशत बोनी पूर्ण हो चुकी है। इसके साथ ही राज्य के किसानों को अब तक 14.02 लाख मीट्रिक टन खाद का वितरण कर लिया गया है, जो लक्ष्य का 102 प्रतिशत है। इसी प्रकार किसानों को 8.92 लाख क्विंटल प्रमाणित बीज का वितरण किया जा चुका है, जो लक्ष्य का 91 प्रतिशत है। कृषि विभाग के अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश में मानसून की काफी अच्छी स्थिति है। राज्य में अब तक 48.35 लाख हेक्टेयर क्षेत्र याने लगभग शत-प्रतिशत क्षेत्र में विभिन्न फसलों की बोनी हो चुकी है। राज्य सरकार द्वारा इस खरीफ सीजन में 48.63 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में विभिन्न फसलों की बोनी का लक्ष्य रखा गया है।
प्रदेश में चालू खरीफ सीजन के लिए किसानों को विभिन्न प्रकार के रासायनिक उर्वरकों का वितरण जारी है। 23 सितम्बर 2024 की स्थिति में किसानों को लगभग 14.02 लाख मीट्रिक टन उर्वरक का वितरण किया जा चुका हैं, जो लक्ष्य का 102 प्रतिशत है। वितरित किए गए उर्वरकों में 7 लाख 6 हजार 811 मीट्रिक टन यूरिया, 2 लाख 87 हजार 198 मीट्रिक टन डीएपी, 1 लाख 77 हजार 026 मीट्रिक टन एनपीके, 57 हजार 563 मीट्रिक टन पोटाश तथा 1 लाख 73 हजार 597 मीट्रिक टन सुपर फास्फेट का वितरण शामिल है।चालू खरीफ सीजन के लिए राज्य में सहकारिता एवं निजी क्षेत्र के माध्यमों से किसानों को 13 लाख 68 हजार मीट्रिक टन खाद वितरण का लक्ष्य निर्धारित है, जिसके विरूद्ध अब तक 16.37 लाख मीट्रिक टन रासायनिक खाद का भण्डारण करा लिया गया है। भण्डारण के विरूद्ध लगभग 14.02 लाख मीट्रिक टन उर्वरक का वितरण किसानों को किया जा चुका है। किसानों को सुगमता पूर्वक खाद का वितरण सोसायटी और निजी विक्रेताओं द्वारा किया जा रहा है। किसानों को किसी प्रकार से परेशानी का सामना नहीं करना पड़ रहा है। वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा खाद-बीज वितरण पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है।
प्रदेश के किसानों को चालू खरीफ सीजन में विभिन्न फसलों की बोनी के लिए सहकारी समितियों एवं निजी क्षेत्र के माध्यम से सुगमता के साथ प्रमाणित बीज उपलब्ध कराए जा रहे हैं। अब तक किसानों को विभिन्न खरीफ फसलों के 8 लाख 92 हजार क्विंटल प्रमाणित बीज वितरण किए गए हैं, जो कि राज्य में बीज की मांग का 91 प्रतिशत है। गौरतलब है कि राज्य में खरीफ की विभिन्न फसलों के प्रमाणित बीज की कुल मांग 9 लाख 78 हजार क्विंटल है, इसके विरूद्ध 9 लाख 31 हजार क्विंटल प्रमाणित बीज भण्डारण किया जा चुका है। किसानों को अब तक 8.92 लाख क्विंटल प्रमाणित बीज का वितरण किया गया है, जो मांग का 91 प्रतिशत है।
चालू खरीफ सीजन में अब तक लक्ष्य का 99 प्रतिशत बोनी पूर्ण हो चुका है। जबकि इस सीजन में राज्य सरकार द्वारा 48.63 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में विभिन्न फसलों के बोनी का लक्ष्य रखा गया है। अब तक 48.35 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में विभिन्न फसलों की बोनी हो चुकी है। राज्य शासन के राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग द्वारा बनाए गए राज्य स्तरीय नियंत्रण कक्ष द्वारा संकलित जानकारी के मुताबिक एक जून 2024 से अब तक राज्य में 1112.1 मिमी औसत वर्षा दर्ज की गई है। राज्य के विभिन्न जिलों में 01 जून 2024 से 23 सितम्बर 2024 सवेरे तक रिकार्ड की गई वर्षा के अनुसार बीजापुर जिले में सर्वाधिक 2323.1 मिमी और बेमेतरा जिले में सबसे कम 577.5 मिमी औसत वर्षा दर्ज की गई है। जबकि प्रदेश की औसत वार्षिक वर्षा 1236 मिलीमीटर है।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के निर्देश पर राज्य के अधिक से अधिक किसानों को अल्पकालीन कृषि ऋण वितरण किया जा रहा है। प्रदेश में किसानों को अब तक राज्य सहकारी बैंकों के द्वारा 2058 सहकारी समितियों के माध्यम से लगभग 6655 करोड़ 46 लाख रूपए का अल्पकालीन ब्याज मुक्त कृषि ऋण वितरण किया गया है। इस वर्ष राज्य सरकार द्वारा किसानों को 7300 करोड़ रूपए ऋण वितरण का लक्ष्य रखा गया है। किसानों को उनके मांग और रकबे के अनुरूप अल्पकालीन कृषि ऋण प्रदान किया जा रहा है।गौरतलब है कि राज्य सरकार द्वारा किसानों को खेती-किसानी की प्रारंभिक जरूरतों को पूरा करने तथा खेती-किसानी में सहूलियत प्रदान करने के उद्देश्य से किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) योजना प्रारंभ किए गए हैं। इसके अलावा किसानों को साहूकारों के चंगुलों से बचाना इसका एक प्रमुख उद्देश्य था। वर्तमान समय में इस योजना के माध्यम से प्रदेश के लाखों किसान इससे लाभान्वित हो रहे हैं। किसानों को प्रारंभिक और खेती-किसानी की जरूरतों के लिए न सिर्फ राहत मिली है, बल्कि फसलों के उत्पाद में लगातार वृद्धि भी हो रही है। -
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आजीविका संवर्धन, वनों की सुरक्षा और वन निवासियों को अधिकार संपन्न बनाने के लिए मास्टर ट्रेनरों का प्रशिक्षणरायपुर : आदिम जाति विकास विभाग के प्रमुख सचिव श्री सोनमणी बोरा ने वन अधिकार अधिनियम के क्रियान्वयन से जुड़े मास्टर ट्रेनरों के प्रशिक्षण सत्र के शुभारंभ अवसर पर कहा कि वन अधिकार अधिनियम के जरिए वनों में निवासरत लोगांे के जीवन में बदलाव लाना हमारी जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा कि हम सब को इस अधिनियम के बेहतर क्रियान्वयन कर वन निवासियों के सामाजिक, आर्थिक उन्नति, वनों की सुरक्षा के लिए उन्हें अधिकार सम्पन्न बनाना है। जिससे वे वन अधिकार पत्रों के साथ-साथ शासन की विभिन्न योजनाओं लाभ उठा सके।
गौरतलब है कि नवा रायपुर स्थित आदिवासी अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान में सामुदायिक वन संसाधान प्रबंधन समिति के गठन एवं कार्य योजना निर्माण पर आयोजित तीन दिवसीय मास्टर ट्रेनरों का 24 से 26 सितम्बर तक तीन दिवसीय प्रशिक्षण का आयोजन किया गया है। इस प्रशिक्षण में वन अधिकार अधिनियम के क्रियान्वयन से जुड़े अधिकारी सहित एनजीओ के प्रतिनिधि शामिल थे। इस मौक़े पर प्रभारी आयुक्त श्री संजय गौड़, फाउंडेशन ऑफ़ इकोलॉजिकल सिक्युरिटी के राज्य समन्वय सुश्री नमिता मिश्रा, यूएनडीपी के श्री किशोर कुुमार सहित अन्य सभी संभाग के प्रशिक्षार्थी उपस्थित थे।
प्रशिक्षण कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए प्रमुख सचिव श्री बोरा ने कहा कि वन अधिकार वनों में निवास करने वाले लोगों के लिए एक ऐसा रास्ता है, जिसके माध्यम से शिक्षा, स्वास्थ्य, आरक्षण, मनरेगा से रोजगार, पीडीएस जैसे कई योजनाओं का लाभ मिल सकता है। इन कार्यों के जरिए हम उन्हें समाज की मुख्यधारा में लाने में सहायक बन सकते हैं। हमें केवल परियोजना को क्रियान्वयन करने के उद्देश्य से नहीं, बल्कि हमें पूर्णतः रूप से लाभ दिलाने के उद्देश्य से कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा कि नई तकनीकों के इस्तेमाल कर शत-प्रतिशत पात्र हितग्राहियों को लाभ पहुंचाने की दिशा में कार्य करना चाहिए।
प्रमुख सचिव श्री बोरा ने कहा कि सामुदायिक वन संसाधन अधिकार अत्यत महत्वपूर्ण है, जिसके फलस्वरुप ग्राम समाएं अपनी परंपरागत वनो की सुरक्षा संरक्षण, प्रबंधन एवं पुनर्जनन अपनी आवश्यकता तथा नीति अनुसार करने का अधिकार मिलता है। यह व्यवस्था जनजातियों तथा अन्य परंपरागत वन निवासियों के वन संसाधन पारंपरिक धरोहर तथा जैव विविधता को बचाये रखने के साथ ही वन आधारित पारपरिक आजीविका को सुदृढ़ करने में सहायक है। इसके अतिरिक्त इसी प्रकार की व्यवस्था के फलस्वरुप हम जलवायु परिवर्तन एवं पर्यावरण सरक्षण की दिशा में सफल कदम उठा सकते है।
प्रमुख सचिव श्री बोरा ने कहा कि छत्तीसगढ़ में 13 हजार से अधिक ग्राम सभाएं हैं। जिसमें से 4 हजार 300 ग्रामों में सामुदायिक वन प्रबंधन संसाधन समिति गठन के लिए स्वीकृति दी जा चुकी है तथा 2070 ग्रामों में सामुदायिक वन प्रबंधन समिति का गठन किया जा चुका है। उन्होंने कहा कि राज्य के 13 हजार ग्राम सभा में भी सामुदायिक वन संसाधन समितियां गठन की जा सकती है इस पर कार्य करने की जरूरत है। उन्होंने सामुदायिक वन संसाधन प्रबंधन अधिनियम की चर्चा करते हुए कहा कि नार्थ इस्ट राज्य जैसे त्रिपुरा, मेघालय में आज भी जमीन सामुदायिक रूप से है। वहां मिलजुलकर कहां खेती-किसानी करते हैं, कौन सी फसल लेनी है, का निर्णय लेते हैं और बेहतर जीवन यापन की दिशा में काम कर रहे हैं। हमें सामुदायिक शक्ति को और सशक्त करने की दिशा में काम करना चाहिए।
प्रशिक्षण सत्र के दौरान बताया कि छत्तीसगढ़ विभिन्न वन अधिकारों की मान्यता के क्रियान्वयन में देश का अग्रणी राज्य है। प्रदेश में अब तक 04 लाख 79 हजार से अधिक व्यक्तिगत वन अधिकार, 49,000 से अधिक सामुदायिक वन संसाधन अधिकार एवं 4300 से अधिक सामुदायिक वन संसाधन अधिकार की मान्यता 19.78 लाख हेक्टर वन भूमि पर दी जा चुकी हैं। इसके अलावा विशेष प्रकार के कमजोर जनजातीय समूहों जैसे कमार के 22 ग्रामों एवं बैगा जनजातीय समुदाय के 19 ग्रामों पर क्रमशः जिला-धमतरी एव गौरेला पेण्ड्रा-मरवाही में पर्यावास अधिकार की मान्यता दी गई है। राज्य सरकार ने व्यक्तिगत वन अधिकार पत्र अधिकारकों के वशजों को भी अधिनियम की धारा 4(4) के अतर्गत प्रदत्त अधिकारों के क्रियान्वयन हेतु फौती नामांतरण की प्रक्रिया निर्धारित कर इसकी अधिसूचना जारी की है।
वन अधिकार मान्यता अधिनियम, 2006 की धारा 3(1) (झ) में सामुदायिक वन संसाधन के अधिकारों का प्रावधान है जिसमें ग्राम सभाओं को सशक्त करने एवं वनों के सुरक्षा, संरक्षण, प्रबंधन एवं पुनर्जनन के लिए उत्तर दायित्व सौपने की दृष्टि स यह अधिकार अत्यंत महत्वपूर्ण है। अनुसूचित क्षेत्र सहित प्रदेश के 30 जिलों में वन अधिकार अधिनियम का कियान्वयन किया जा रहा है। वन अधिकार मान्यता अधिनियम के तहत सामुदायिक वन ससाधन अधिकार में मान्यता की प्रक्रिया प्रारंभ करने का अधिकार ग्राम सभाओं को है. किंतु जिलों में मैदानी स्तर पर अधिनियम के प्रति समुचित जागरूकता के अभाव में मान्यता की प्रक्रिया में त्रुटियां परिलक्षित हुई हैं जिसमें प्रमुख रुप से ग्राम सभाओं की पारंपरिक व रुढिगत सीमा का नियमानुसार निर्धारण तथा सीमांकन शामिल है. जिन्हें दूर करने के प्रयास किए जा रह हैं।