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महासमुंद : नगर सैनिक भर्ती प्रक्रिया के अंतर्गत शारीरिक कौशल परीक्षा में सफल अभ्यर्थियों के लिए अगली लिखित परीक्षा रविवार 22 जून को आयोजित की जाएगी। परीक्षा में शामिल होने वाले सभी अभ्यर्थी ’छत्तीसगढ़ व्यवसायिक परीक्षा मंडल vyapam.cgstate.gov.in की वेबसाइट से अपना प्रवेश पत्र डाउनलोड कर सकते हैं। अभ्यर्थी अपने प्रोफाइल लॉगिन के माध्यम से वेबसाइट पर जाकर प्रवेश पत्र प्राप्त कर सकते हैं। इसके साथ ही, पंजीकृत मोबाइल नंबर पर भेजे गए लिंक के माध्यम से भी प्रवेश पत्र सीधे डाउनलोड किया जा सकता है।
जिला सेनानी एवं जिला अग्निशमन अधिकारी ने बताया कि अभ्यर्थी को परीक्षा केंद्र पर एक घंटे पूर्व पहुँचना अनिवार्य होगा। सभी परीक्षार्थियों को प्रवेश पत्र के साथ एक फोटोयुक्त पहचान पत्र अनिवार्य रूप से लाना होगा। किसी भी वैध पहचान पत्र के अभाव में परीक्षा केंद्र में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी। परीक्षा से संबंधित किसी भी समस्या के लिए हेल्पलाइन नंबर 0771-2972780 और 8269801982 पर ’प्रातः 10ः00 बजे से सायं 05ः00 बजे तक संपर्क किया जा सकता है।
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महासमुंद : मुख्य कार्यपालन अधिकारी, चिप्स, स्टेट डाटा सेंटर भवन, सिविल लाईन, रायपुर छ.ग. के निर्देशानुसार जिला महासमुंद के 24 शासकीय कार्यालयों में इन हाउस मॉडल के अनुसार आधार केन्द्र संचालन हेतु 26 आधार संचालक/ऑपरेटर का चयन किया जाना है। जिस हेतु आवेदन पत्र केवल स्पीड पोस्ट के माध्यम से 27 जून 2025 अपरान्ह 05.00 बजे तक कार्यालय कलेक्टर, जिला महासमुंद में आमंत्रित किया गया है। विस्तृत विज्ञापन एवं आवेदन प्रारूप जिले की अधिकृत वेबसाइट में अवलोकन कर सकते हैं।
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महासमुन्द : आदिवासी समुदायों के समग्र विकास और सरकारी योजनाओं के लाभों की शत-प्रतिशत पहुँच सुनिश्चित करने हेतु धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान के अंतर्गत 17 जून से 30 जून 2025 तक ग्राम स्तर पर जागरूकता एवं लाभ संतृप्ति शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह के निर्देशानुसार इन शिविरों में विशेष पिछड़ी जनजाति समूह के चिन्हांकित गांवों में विभिन्न विभागीय सेवाओं और कल्याणकारी योजनाओं का सीधा लाभ प्रदान किया जाएगा। इसी क्रम में आज महासमुंद विकासखंड अंतर्गत ग्राम रुमेकेल, बागबाहरा विकासखंड अंतर्गत ग्राम टेढ़ीनारा, पिथौरा विकासखंड अंतर्गत गोपालपुर एवं सरायपाली विकासखंड अंतर्गत ग्राम पंचायत डूडूमचुंवा में शिविर का आयोजन हुआ।
डूडूमचुंवा शिविर में मुख्य अतिथि के रूप में छत्तीसगढ़ महिला आयोग की सदस्य श्रीमती सरला कोसरिया शामिल हुई। श्रीमती सरला कोसरिया ने शिविर को संबोधित करते हुए कहा कि यह अभियान हमारे जनजातीय भाई-बहनों के समग्र विकास, सम्मान और आत्मनिर्भरता की दिशा में एक सार्थक पहल है। धरती आबा, यानी धरती के पिता, हमारे महान जननायक बिरसा मुंडा जी की स्मृति और उनके आदर्शों से प्रेरित यह अभियान हमें हमारे मूलभूत कर्तव्यों की याद दिलाता है। यह अभियान शासन की नहीं, बल्कि जन-जन की सहभागिता से चलने वाली जन अभियान है। धरती आबा अभियान केवल शासन की जिम्मेदारी नहीं, बल्कि हम सबका सामूहिक दायित्व है। सभी जनप्रतिनिधियों, अधिकारियों, ग्रामीणजनों और युवाओं से आह्वान करती हूं कि इस अभियान को जन-जन का अभियान बनाएं।
डूडूमचुंवा शिविर में 7 हितग्राहियों के आधार कार्ड, 15 हितग्राहियों का राशन कार्ड, 05 हितग्राहियों का वय वंदन कार्ड, 02 हितग्राहियों का श्रम कार्ड के लिए एवं 01 हितग्राही का आयुष्मान कार्ड के लिए पंजीयन किया गया। वृद्धावस्था पेंशन के लिए 04 पात्र हितग्राहियो का चयन कर पेंशन स्वीकृत किया गया। इसी तरह टेढ़ीनारा शिविर में 02 हितग्राहियों का आधार कार्ड एवं 20 हितग्राहियों का मोबाईल लिंक किया गया। 04 हितग्राहियों का राशन कार्ड के लिए पंजीयन, 23-23 हितग्राहियों का जाति प्रमाण एवं निवास पत्र के लिए पंजीयन किया गया। साथ ही एक कृषक का पीएम किसान सम्मान निधि योजना में पंजीयन किया गया। ग्राम पंचातय रूमेकेल शिविर में स्वास्थ्य विभाग द्वारा 20 हितग्राहियों का आयुष्मान कार्ड एवं 17 लोगों का सिकलिंग जांच किया गया। समाज कल्याण विभाग द्वारा 05 हितग्राहियों का पेशन स्वीकृति, श्रम विभाग द्वारा 05 लोगों का श्रम कार्ड, पंचायत विभाग द्वारा 08 लोगों का जॉब कार्ड, खाद्य विभाग द्वारा 31 लोगों का राशन कार्ड संबंधित कार्य तथा राजस्व विभाग द्वारा 44 लोगों का जाति प्रमाण पत्र एवं 45 लोगों का निवास प्रमाण पत्र के लिए पंजीयन किया गया। शिविर में स्थानीय जनप्रतिनिधिगण, बड़ी संख्या में ग्रामीणजन व संबंधित विकासखण्ड के स्वास्थ्य कार्यकर्ता, मितानिन, पटवारी, मनरेगा अधिकारी, कृषि विभाग के कर्मचारी, छात्रावास अधीक्षक, महिला एवं बाल विकास विभाग के पर्यवेक्षक, पेंशन विभाग प्रतिनिधि, ग्राम सचिव, आधार ऑपरेटर आदि मौजूद थे।
उल्लेखनीय है कि जिले के 306 ग्रामों के जनजातीय समुदायों तक सरकारी योजनाओं और सेवाओं की पहुंच सुनिश्चित करने जागरूकता व लाभ शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। जागरूकता एवं लाभ संतृप्ति शिविर पिथौरा विकासखंड अंतर्गत 18 जून को पेंड्रावन में, 19 जून को पिरदा में, 20 जून को गोड़बहाल में, बसना विकासखंड अंतर्गत 18 जून को ग्राम पंचायत जमदरहा में, 20 जून को बुंदेलभाठा, महासमुंद विकासखंड अंतर्गत 19 जून को तेलीबांधा, 20 जून को पथर्री में, बागबाहरा विकासखंड अंतर्गत 19 जून को कर्मापटपर, 20 जून को पतेरापाली स में तथा इसी तरह सरायपाली विकासखंड अंतर्गत 19 जून को सेमलिया में शिविर का आयोजन होगा।
प्रचार रथ के माध्यम से धरती आबा कार्यक्रम की गतिविधियों से किया जा रहा जागरूक
प्रचार रथ के माध्यम से ग्रामवासियों को धरती आबा कार्यक्रम की प्रमुख गतिविधियों एवं लाभों के बारे में जागरूक किया जा रहा है। इनमें मुख्य रूप से स्वास्थ्य जांच शिविर, पोषण जागरूकता, शिक्षा सुविधाएं, सरकारी योजनाओं की जानकारी, कृषि सहायता, स्वच्छता, जल संरक्षण, कौशल विकास, महिला सशक्तिकरण तथा बैंकिंग सुविधाओं से जुड़ी जानकारियां शामिल हैं। यह प्रचार रथ ऑडियों सामग्री व फ्लैगशिप के माध्यम से सहज व सरल तरीके से जानकारी प्रदान कर रहा है, जिससे ग्रामीण समुदाय इस जनकल्याणकारी अभियान से अधिकतम रूप से लाभान्वित हो सके। साथ ही दीवाल लेखन के द्वारा भी जागरूक किया जा रहा है। प्रचार रथ आज चयनित ग्राम बोकरामुड़ाकला, बोकरामुड़ा खुर्द व बी.के. बाहरा, हाथीबाहरा, गोटियापानी में पहुंचकर ग्रामीणजनों को अभियान के लाभों से अवगत कराया। अभियान के तहत जिला कार्यालय में सेल्फी प्वाइंट भी बनाया गया है।
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निजी दुकानों में खाद के अवैध भण्डारण पर होगी कार्रवाई
महासमुन्द : जिले के किसानों को खरीफ मौसम की तैयारी में किसी प्रकार की असुविधा न हो, इसके लिए कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह के निर्देशानुसार जिले के प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों में पर्याप्त मात्रा में खाद एवं बीज का भंडारण कर लिया गया है। उप संचालक कृषि श्री एफ.आर. कश्यप ने जानकारी दी कि जिले की सभी कृषक सहकारी समितियों से किसान खाद और बीज प्राप्त कर सकते हैं।
अब तक जिले में कुल 41,238 टन खाद का भंडारण किया गया है, जिसमें से 18,432 टन खाद का वितरण किया जा चुका है। जो कि भण्डारण के विरूद्ध 44.70 प्रतिशत है। खाद की उपलब्धता में सहकारी एवं निजी समितियों में यूरिया 22 हजार 66, सुपर फॉस्फेट 09 हजार 67, पोटाश 02 हजार 718, डी.ए.पी. 04 हजार 861, उर्वरक 12ः32ः16 एक हजार 80 तथा उर्वरक 20ः20ः0ः13 एक हजार 446 टन भण्डारित किया गया है। वर्तमान में 22 हजार 806 टन खाद विक्रय हेतु शेष है।
वहीं बीज का भंडारण 26,859 क्विंटल किया गया है, जिसमें से 12,704 क्विंटल बीज का वितरण हुआ है। जो कि भण्डारण के विरूद्ध 47.30 प्रतिशत है। उन्होंने बताया कि अनाज अंतर्गत धान सामान्य, शंकर धान, मक्का, कोदो, कुटकी एवं रागी, दलहन अंतर्गत अड़हर, उड़द एवं मूंग, तिलहन फसल अंतर्गत सोयाबीन, मूंगफली एवं तिल बीजों का भण्डारण किया गया है। किसानों द्वारा उठाव के पश्चात 14 हजार 155 क्विंटल बीज वर्तमान में शेष है। जिसका वितरण किया जा रहा है। कलेक्टर ने सभी सहकारी समितियों एवं निजी दुकानों में पॉस मशीन के माध्यम से विक्रय करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही निजी दुकानों में अवैध भण्डारण पाए जाने पर जब्ती की कार्रवाई करने सख्त निर्देश दिए है। अधिकारियों द्वारा लगातार खाद-बीज की उपलब्धता एवं वितरण पर निगरानी रखी जा रही है।
डीएपी के विकल्प के तौर पर सुपर फॉस्फेट और यूरिया का उपयोग करें - कृषि उप संचालक
जिले में यूरिया एवं सुपर फॉस्फेट खाद का भण्डारण पर्याप्त मात्रा में किया गया है। यूरिया खाद 22 हजार 66 टन तथा सुपर फॉस्फेट 09 हजार 67 टन भण्डारण किया गया है। कृषि उप संचालक श्री एफ.आर. कश्यप ने बताया कि डीएपी 18ः46 खाद के विकल्प के तौर पर सुपर फॉस्फेट एवं यूरिया का आनुपातिक मात्रा उपयोग किया जा सकता है। इस संबंध में सभी सहकारी समिति और निजी दुकानों को निर्देश दिए गए हैं। जल्दी पकने वाली धान की किस्मों के लिए प्रति एकड़ पोषक तत्व का अनुपात नत्रजन 24 किलो, स्फूर 16 किलो एवं पोटाश 08 किलो उपयोग करने की सलाह दी गई है। इसी तरह 141 दिन से अधिक दिन में पकने वाली धान के लिए यह अनुपात 32ः20ः12 है। 126 से 140 दिन की अवधि में पकने वाली धान के लिए 40ः24ः16 के अनुपात में खाद उपयोग करने की सलाह वैज्ञानिकों द्वारा दी गई है। धान की संकर किस्मों के लिए 52ः32ः24 किलो के अनुपात में खाद उपयोग करने की सिफारिश की गई है।
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महासमुंद : कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने आज मंगलवार को कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजित जन चौपाल में जिले के विभिन्न स्थानों से आए नागरिकों की समस्याएं एवं शिकायतें सुनी। उन्होंने संबंधित विभाग को आवेदनों का अवलोकन कर त्वरित निराकरण करने के निर्देश दिए। आज जन चौपाल में कुल 62 आवेदकों ने आवेदन प्रस्तुत किए। कलेक्टर ने सभी आवेदकों की समस्याएं बारी-बारी सुनी। इस अवसर पर जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक, अपर कलेक्टर श्री रवि कुमार साहू एवं श्री रविराज ठाकुर, एसडीएम सहित अन्य जिला स्तरीय अधिकारी मौजूद थे।
जन चौपाल में महलपारा सरायपाली निवासी अहिल्या यादव ने पृथक राशन कार्ड एवं निराश्रित पेंशन हेतु आवेदन किया। इस संबंध में कलेक्टर ने उक्त विषय के आवेदनों का संबंधित विभाग को त्वरित निराकरण करने हेतु निर्देशित किया। तहसील सरायपाली अंतर्गत ग्राम पंचायत कसडोल के ग्राम वासियों ने पीएम आवास योजना अंतर्गत हितग्राहियों से अवैध राशि लिए जाने के संबंध में शिकायत की गई। जिस पर कलेक्टर ने मामले की जाँच कर कड़ी कार्यवाही करने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने कहा कि उक्त योजना के क्रियान्वयन में किसी प्रकार की लापरवाही या नियम विरुद्ध कार्य करने पर कार्यवाही की जाएगी। इसके अलावा खल्लारी निवासी डॉली यादव ने माता पिता की मृत्यु पश्चात आवास हेतु आवेदन, ग्राम पंचायत कुकराड़ीह, महासमुंद सरपंच द्वारा सचिव को कार्यभार सौंपने हेतु आवेदन, ग्राम पंचायत जेराभरन महासमुंद के ग्रामवासियों ने शासकीय भूमि पर अवैध कब्जा के संबंध में, ग्राम भटगांव महासमुंद निवासी सोमन खूंटे ने वन अधिकार पट्टा हेतु, ग्राम पंचायत बिछियाँ बसना के ग्रामवासियों नवीन स्कूल भवन हेतु, ग्राम झिलमिला पटेवा के ग्रामवासियों ने डुबान क्षेत्र के सीमांकन हेतु और नगर पंचायत बसना के वार्ड क्रमांक 1 में अवैध शराब व नशीली दवाओं की बिक्री रोकने के लिए नगरवासियों ने कार्यवाही हेतु आवेदन किए। इसके अलावा पीएम आवास योजना, सीमांकन, अवैध कब्जा, मुआवजा राशि, अंत्योदय राशन कार्ड, ऋण पुस्तिका, साथ ही अन्य माँग एवं शिकायत संबंधी आवेदन प्राप्त हुए, जिस पर शीघ्र निराकरण हेतु संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया गया।
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महासमुंद : जिले में संचालित स्कूल बसों की सुरक्षा और मानकों की जांच सुनिश्चित करने हेतु परिवहन विभाग द्वारा 22 जून 2025 को निरीक्षण शिविर का आयोजन किया जाएगा। यह शिविर सरायपाली स्थित प्रतिभा पब्लिक स्कूल परिसर में सुबह 9ः00 बजे से दोपहर 3ः00 बजे तक आयोजित होगा।
जिला परिवहन अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि यह शिविर सरायपाली और बसना तहसील के अंतर्गत संचालित समस्त शैक्षणिक संस्थानों की स्कूल बसों के भौतिक निरीक्षण हेतु आयोजित किया गया है। इस दौरान प्रत्येक स्कूल बस का तकनीकी परीक्षण, फिटनेस जांच एवं सुरक्षा से संबंधित आवश्यक दस्तावेजों की समीक्षा की जाएगी। परिवहन अधिकारी ने सभी स्कूल प्रबंधन, वाहन मालिकों, वाहन चालकों एवं परिचालकों से अनुरोध किया है कि वे निर्धारित तिथि पर वाहन तथा सभी वैध दस्तावेजों के साथ अनिवार्य रूप से उपस्थित रहें। उन्होंने बताया कि निरीक्षण के दौरान यदि कोई वाहन शिविर में प्रस्तुत नहीं किया जाता है, तो उस वाहन का फिटनेस निलंबन/निरस्तीकरण की कार्यवाही की जाएगी।
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ऐतिहासिक नगरी सिरपुर में होगा जिला स्तरीय योग कार्यक्रम 20 जून तक करें ऑनलाइन पंजीकरण
महासमुन्द : ग्यारहवां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस महासमुन्द जिले में आगामी 21 जून 2025 को पूरे उत्साह और उल्लास के साथ मनाया जाएगा। इस वर्ष योग दिवस की थीम “योगा संगम” एवं “हरित योग” निर्धारित की गई है, जिसका उद्देश्य योग को पर्यावरण संरक्षण से जोड़ते हुए जनसामान्य के दैनिक जीवन का अभिन्न हिस्सा बनाना है। इस बार योग दिवस का मुख्य जिला स्तरीय कार्यक्रम ऐतिहासिक नगरी ‘सिरपुर’ में आयोजित किया जाएगा। इसके साथ ही जिले के विकासखंड, नगरीय निकायों एवं ग्राम पंचायत स्तर पर भी भव्य योग कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा।इन सभी आयोजनों की जानकारी एवं सहभागिता का विवरण http://yoga.ayush.gov.in/yoga&sangam पोर्टल पर अनिवार्य रूप से अपलोड किया जाना है। जिले के सभी नागरिक, शासकीय एवं निजी संस्थान, विद्यालय तथा महाविद्यालय 20 जून 2025 तक ऑनलाइन पंजीकरण कर कार्यक्रम में भाग ले सकते हैं। यह पंजीकरण प्रक्रिया पूरी तरह सरल, त्वरित एवं डिजिटल है, जिससे ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों के नागरिक बिना किसी कठिनाई के अपनी सहभागिता सुनिश्चित कर सकते हैं।
कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने जिले के समस्त ग्राम पंचायतों, नगर एवं जनपद मुख्यालयों, शासकीय कार्यालयों और शिक्षण संस्थानों को निर्देशित किया है कि वे योग संगम पंजीकरण पोर्टल पर नागरिकों का अधिकतम पंजीकरण सुनिश्चित करें और उन्हें कार्यक्रम में सक्रिय रूप से भाग लेने हेतु प्रेरित करें। उन्होंने विभाग प्रमुखों, ग्राम पंचायत सचिवों, सरपंचों, जनपद सीईओ, स्कूल प्राचार्यों एवं महाविद्यालय प्रशासन से आह्वान किया है कि वे इस आयोजन को जन आंदोलन का रूप दें। कलेक्टर ने जिले के प्रत्येक कोने से एवं प्रत्येक वर्ग से जन सहभागिता सुनिश्चित करने अपील की है। उन्होंने कहा कि इस वर्ष का योग दिवस को ऐतिहासिक और यादगार बनाया जाए। उन्होंने कहा कि आओ जुड़ें योग से - स्वस्थ तन, सुखी मन और सशक्त समाज के लिए!
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किसानों को समय पर खाद-बीज मिलना सुनिश्चित हो
अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस की तैयारियों की समीक्षा
मौसमी बीमारियों से बचने स्वास्थ्य विभाग अलर्ट रहें
जनसहभागिता से जल संचयन के कार्यों में गति लाएं
महासमुंद : कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने आज समय सीमा की बैठक लेकर एकमुश्त चावल वितरण, धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान, एक पेड़ मां के नाम 2.0 अभियान, मोर गांव मोर पानी अभियान की प्रगति की समीक्षा की। साथ ही बैठक में शासन की प्राथमिकताओं, जनघोषणाओं, योजनाओं और अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस को लेकर विस्तृत चर्चा की गई। बैठक में वनमंडलाधिकारी श्री मयंक पांडेय, जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक, अपर कलेक्टर श्री रवि साहू एवं श्री रविराज ठाकुर, अनुविभागीय अधिकारीगण एवं जिला स्तरीय अधिकारी उपस्थित थे।
बैठक में कलेक्टर श्री लंगेह ने शाला प्रवेशोत्सव के सफल आयोजन के निर्देश दिए और कहा कि “जिले के किसी भी स्कूल में तालाबंदी की नौबत न आएं। युक्तियुक्तकरण अंतर्गत सभी शालाओं में शिक्षकों की व्यवस्था की गई है। जिससे कोई भी विद्यालय एकल शिक्षकीय नहीं है। उन्होंने सभी एसडीएम और डीईओ को निर्देशित किया कि प्रत्येक विद्यालय नियत समय पर खुले और विद्यार्थियों को गणवेश, पुस्तकें उपलब्ध कराई जाएं। उन्होंने मुख्यमंत्री के महासमुंद प्रवास के दौरान की गई घोषणाओं पर त्वरित कार्यवाही के निर्देश देते हुए कहा कि घोषणाओं का वर्क ऑर्डर शीघ्र निर्गत कर कार्य प्रारंभ करें। जनपद सीईओ और निर्माण एजेंसियां इस कार्य को गंभीरता से लें और जमीनी स्तर पर क्रियान्वयन सुनिश्चित करें। कलेक्टर ने सरकार की स्थानांतरण नीति के तहत प्राप्त आवेदनों पर त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बताया कि 25 जून तक सभी आवदनों को जिला स्तर पर अनुमोदन कर प्रभारी मंत्री को भेजा जाएगा। सभी संबंधित प्रभारी अधिकारियों को इस कार्य को समयबद्ध ढंग से पूर्ण करने कहा गया।
कलेक्टर श्री लंगेह ने कहा कि धरती आबा अभियान के तहत जनजातीय बहुल गांवों और आकांक्षी जिलों में जनजातीय समुदायों की सामाजिक-आर्थिक स्थिति में सुधार करना और उन्हें केन्द्र व राज्य सरकार की विभिन्न लोक कल्याणकारी योजनाओं से जोड़कर उनका लाभ दिलवाना है। उन्होंने धरती अभियान अंतर्गत शिविरों के सफल संचालन हेतु सभी संबंधित विभागों को निर्देशित किया है कि वे आपसी समन्वय के साथ ’अपने-अपने विकासखण्डों के चयनित ग्रामों में शिविर आयोजन कर विशेष जनजाति परिवारों को लाभान्वित करना सुनिश्चित करें। जिले में आज 17 जून से 30 जून तक शिविर का आयोजन कर 306 ग्रामों के जनजातीय समुदाय को लाभान्वित किया जाएगा। बैठक में कलेक्टर श्री लंगेह ने कहा कि जिले में 21 जून अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पूरे उत्साह और उल्लास के साथ मनाया जाएगा। जिला स्तरीय योग दिवस कार्यक्रम ऐतिहासिक नगरी सिरपुर में आयोजित किया जा रहा है। सभी अधिकारियों की अनिवार्य उपस्थिति सुनिश्चित करने को कहा गया है। कलेक्टर ने जिले के समस्त ग्राम पंचायतों, नगर एवं जनपद मुख्यालयों, शासकीय कार्यालयों और शिक्षण संस्थानों को निर्देशित किया है कि वे योग संगम पंजीकरण पोर्टल पर नागरिकों का अधिकतम पंजीकरण सुनिश्चित करें और उन्हें कार्यक्रम में सक्रिय रूप से भाग लेने हेतु प्रेरित करें।
किसानों को समय पर खाद एवं बीज की उपलब्धता सुनिश्चित करने कहा गया। साथ ही खाद वितरण पॉस मशीन के माध्यम से करने के निर्देश दिए गए। कलेक्टर ने कहा कि किसी भी निजी दुकान में खाद का अवैध भंडारण पाए जाने पर तत्काल जब्ती की कार्रवाई की जाए। कलेक्टर ने कहा कि “अवैध रेत उत्खनन, भंडारण और परिवहन किसी भी स्थिति में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।” खनिज विभाग और राजस्व अमले को सतर्क रहकर लगातार कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए। एक पेड़ मां के नाम 2.0’ अभियान की तैयारियों की समीक्षा करते हुए कहा कि ‘एक पेड़ के नाम 2.0’ कार्यक्रम के अंतर्गत सभी जनप्रतिनिधियों को पौधरोपण में शामिल करने आमंत्रित किया जाए। वनमंडलाधिकारी श्री मयंक पांडेय ने कहा कि वृहद रूप से पौधरोपण कर पर्यावरण संरक्षण की दिशा में सार्थक पहल की जाएगी। यह अभियान 30 सितंबर तक चलेगा, जिसके अंतर्गत स्कूल, आंगनबाड़ी, पंचायत भवन, अमृत सरोवर, तालाबों, प्रधानमंत्री आवासों के आसपास एवं माइनिंग क्षेत्रों में फलदार पौधे लगाया जाना है। कलेक्टर ने जून माह में चावल का एकमुश्त वितरण 30 जून तक पूर्ण करने संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया। साथ ही राशन कार्ड नवीनीकरण के लिए विशेष प्रयास करने के निर्देश दिए गए। राशन कार्ड के ई-केवाईसी की अंतिम तिथि 30 जून निर्धारित की गई है। शेष सदस्यों से निर्धारित समय सीमा के भीतर ई-केवाईसी कराने का आग्रह किया गया। बैठक में कृषि संकल्प यात्रा की समीक्षा करते हुए नवाचारी किसानों की सफलता की कहानियाँ साझा करने के निर्देश दिए गए।ग्रामीण क्षेत्रों में जल संचयन को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से “मोर गांव मोर पानी“ अभियान के अंतर्गत जनभागीदारी से जल संचयन हेतु अब तक 2800 सोखता गड्ढों का निर्माण किया गया है। इस कार्य की सराहना करते हुए कलेक्टर ने निर्माण कार्यों की सतत निगरानी के निर्देश दिए एवं जनसहभागिता को बढ़ाते हुए कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए। मौसमी बीमारियों की रोकथाम हेतु शहरों में नालियों और पानी की टंकियों की सफाई एवं क्लोरिनेशन के निर्देश दिए गए। स्वास्थ्य विभाग को डायरिया और अन्य मौसमी बीमारियों से बचाव के लिए अलर्ट मोड में रहने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने सभी नगरीय निकायों को सघन स्वच्छता अभियान चलाने कहा। बैठक में राजस्व प्रकरणों, सुशासन तिहार, चावल वितरण, पीएम जनमन योजना आदि की भी समीक्षा की गई। सभी विभागों को अपने कार्यों की प्रगति प्रस्तुत करने और समय सीमा में कार्य पूर्ण करने कहा गया।
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नालसा के ’’साथी’’ अभियान के क्रियान्वयन के संबंध में बैठक आयोजित
महासमुंद : बेसहारा बच्चों की पहचान कर उन्हे कानूनी सहायता एवं शासन के कल्याणकारी योजनाओं से जोड़ने के उद्देश्य से साथी अभियान के तहत जिला साथी ईकाई का गठन किया गया है। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण महासमुंद के प्रबंध कार्यालय के अधिकार मित्र हरिचंद साहू द्वारा अपने विज्ञप्ति में बताया कि नालसा के साथी अभियान के सफल क्रियान्वयन हेतु प्राधिकरण के अध्यक्ष एवं प्रधान जिला न्यायाधीश श्रीमती अनिता डहरिया के मार्गदर्शन पर गठित जिला साथी ईकाई के सदस्यों की बैठक जिला विधिक सेवा प्राधिकरण महासमुंद की सचिव एवं साथी अभियान के समन्वयक श्रीमती आफरीन बानों द्वारा जिला न्यायालय महासमुंद के वीडियों कान्फ्रेसिंग कक्ष में आहुत किया गया। जिसमें गठित साथी ईकाई के संबंधित विभाग के अधिकारी एवं उनके द्वारा नामित की गई कर्मचारीगण उपस्थित थे।
बैठक में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण महासमुंद की सचिव श्रीमती आफरीन बानों द्वारा उपस्थिति ईकाई के सदस्यों को संबंधित करते हुए बताया कि नालसा द्वारा देश भर में बेसहारा बच्चों की पहचान करना और उनके आधार नामांकन, कानूनी सहायता और कल्याणकारी योजनाओं से जोड़ना ताकि कोई भी बच्चे कानूनी हक एवं न्याय से वचित ना रहे जिस हेतु छत्तीसगढ़ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, बिलासपुर के निर्देशानुसार जिला महासमुंद अंतर्गत जिला साथी ईकाई का गठन किया गया है। जिसमें विभिन्न विभागों के अधिकारी-कर्मचारियों को शामिल किया गया है। नालसा के अभियान ’’साथी’’ के सफल क्रियान्वयन के लिए जिला साथी ईकाई का गठन किया गया है। इस अभियान में प्राधिकरण की सचिव कोर्डिनेटर के रूप में विभिन्न विभागों के अधिकारी कर्मचारियों से समन्वय स्थापित कर इस अभियान के संचालन किया जाएगा। जिसमें पुलिस विभाग से किशोर युनिट के अधिकारी, तहसील अंतर्गत समस्त तहसीलदार या उनके द्वारा नामित अधिकारी-कर्मचारी, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, जिला शिक्षा अधिकारी, महिला एवं बाल विकास विभाग अंतर्गत जिला बाल संरक्षण अधिकारी, बाल देख रेख संस्था से अधीक्षकगण, सामाजिक कार्यकर्ता, सभी तहसीलों क्षेत्र अंतर्गत के एक-एक पैनल अधिवक्ता तथा अधिकार मित्रों को शामिल किया गया है।
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महासमुंद : भारत सरकार की स्वामित्व योजना के अंतर्गत ग्रामीण क्षेत्रों में रहवासियों को अधिकार अभिलेख प्रदान करने की दिशा में जिला प्रशासन द्वारा सक्रिय प्रयास किए जा रहे है। इसी क्रम में 18 जून 2025 को विशेष ग्राम सभा आयोजित की जाएगी। जिला कलेक्टर कार्यालय, भू-अभिलेख शाखा एवं पंचायत शाखा द्वारा जारी निर्देशों के अनुसार, अब तक जिले के कई ग्राम पंचायतों में ग्रामसभा प्रस्ताव पारित न होने के कारण हितग्राहियों को संपत्ति अभिलेख प्रदान नहीं हो सका है, जिससे अनेक प्रकरण लंबित हैं। इन प्रकरणों के शीघ्र समाधान के उद्देश्य से यह विशेष ग्राम सभा बुलाई जा रही है।
ग्राम सभाओं में संबंधित गांवों के पात्र गृह स्वामियों के लिए प्रस्ताव पारित किए जाएंगे, जिससे उन्हें स्वामित्व प्रमाण पत्र समयबद्ध रूप से प्रदान किया जा सके। यह प्रमाण पत्र ग्रामीणों की संपत्ति पर अधिकार की वैधता सुनिश्चित करता है और उनके आर्थिक एवं सामाजिक सशक्तिकरण में सहायक होता है। कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने समस्त जनपद पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को निर्देशित किया है कि विशेष ग्राम सभा के आयोजन को प्राथमिकता देते हुए उसकी पूरी तैयारी सुनिश्चित करें, ताकि योजना अंतर्गत सभी पात्र हितग्राहियों को लाभ मिल सके और किसी भी प्रकार की विलंब की स्थिति उत्पन्न न हो।
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महासमुन्द : जिले में 0 से 5 वर्ष के बच्चों में डायरिया से होने वाली मृत्यु को रोकने एवं शिशु मृत्यु दर में कमी लाने के उद्देश्य से स्टॉप डायरिया कैम्पेन 2025 का शुभारंभ आज शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, महासमुंद से किया गया। यह विशेष अभियान 16 जून से 31 जुलाई 2025 तक संचालित किया जाएगा। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. पी. कुदेशिया के मार्गदर्शन में जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. वी.पी. सिंह एवं जिला नोडल अधिकारी डॉ. अरविन्द गुप्ता की उपस्थिति में किया गया।
कार्यक्रम का उद्देश्य बच्चों में डायरिया की रोकथाम हेतु व्यापक जन जागरूकता एवं त्वरित उपचार सुनिश्चित करना है। इस अभियान के अंतर्गत 0-5 वर्ष तक के बच्चों वाले घरों की सूची तैयार कर मितानिनों द्वारा घर-घर भ्रमण किया जाएगा। प्रत्येक घर में एक ओआरएस पैकेट वितरित किया जाएगा, वहीं डायरिया प्रभावित परिवारों को 2 ओआरएस पैकेट एवं 14 जिंक की गोलियां प्रदान की जाएंगी। भ्रमण के दौरान मितानिनें ओआरएस घोल बनाने की विधि, हाथ धोने की सही प्रक्रिया एवं जिंक के सही उपयोग की जानकारी भी देंगी। डायरिया में जिंक की उपयोग विधि - 02 से 06 माह के बच्चों को आधी गोली (10 मि.ग्रा.) और 06 माह से 05 वर्ष के बच्चों को 01 गोली (20 मि.ग्रा.) दी जाएगी। यह गोली 14 दिनों तक चम्मच में माँ के दूध या साफ पानी के साथ दी जाएगी।
अभियान की प्रभावी निगरानी हेतु जिला एवं विकासखण्ड स्तर पर मानिटरिंग टीमों का गठन किया गया है। ये टीमें स्वास्थ्य संस्थानों, स्कूलों एवं आंगनबाड़ियों में भ्रमण कर जागरूकता गतिविधियों का निरीक्षण करेंगी। साथ ही, आरबीएसके दलों द्वारा आंगनबाड़ी केंद्रों में स्वास्थ्य परीक्षण एवं जागरूकता कार्य किए जाएंगे। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. पी. कुदेशिया ने आमजन से अपील की है कि वे अपने 0-5 वर्ष के बच्चों के साथ नजदीकी स्कूलों या आंगनबाड़ी केंद्रों में जाकर ओआरएस घोल बनाने, हाथ धुलाई की तकनीक और जिंक की उपयोग विधि संबंधी जानकारी प्राप्त करें और इन उपायों को दैनिक जीवन में अपनाएं, जिससे डायरिया एवं अन्य संक्रामक बीमारियों से बच्चों को सुरक्षित रखा जा सके।
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महासमुंद : जिला स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) प्रबंधन समिति की बैठक स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के कार्यां की प्रगति के संबंध में मंगलवार 17 जून को कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजित की जाएगी। बैठक में चयनित ग्रामों को ओडीएफ प्लस मॉडल ग्राम घोषित करने, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए निर्मित कचरा संग्रहण शेड को क्रियाशील किए जाने, निर्मित सामुदायिक शौचालयों को क्रियाशील कर संधारण करने, प्लास्टिक मैनेजमेंट के लिए निर्मित यूनिट को क्रियाशील कर समीप ग्राम को लिंक करने सहित अन्य विषयों पर चर्चा की जाएगी। जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक ने संबंधितों को उक्त बैठक में नियत तिथि एवं समय पर उपस्थित होने निर्देशित किया है।
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पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की ली समीक्षा बैठक
महासमुंद : जिले में आदिवासी विकास तथा पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की योजनाओं की प्रभावी क्रियान्वयन को लेकर आज जिला पंचायत के सभाकक्ष में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक में कलेक्टर श्री विनय लंगेह, जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक, तथा सहायक आयुक्त श्रीमती शिल्पा साय आदिवासी विकास विभाग उपस्थित रहे। इस दौरान सभी जनपद सीईओ एवं मंडल संयोजकों को शिविरों के सफल क्रियान्वयन के लिए जरूरी निर्देश दिए गए।
इस अवसर पर यह भी निर्देशित किया गया कि शिविरों में विभिन्न विभागों की योजनाओं का एकीकृत क्रियान्वयन हो, जिससे ग्रामीणों को एक ही स्थान पर सभी लाभ मिल सकें। यह शिविर पंचायत स्तर पर आयोजित किए जाएंगे और इनका व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाएगा। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में शामिल अधिकारियों ने विभिन्न योजनाओं की प्रगति से संबंधित जानकारी दी और अपने क्षेत्रों में शिविर आयोजन की तैयारियों को साझा किया। कलेक्टर श्री लंगेह ने कहा कि प्रशासन का उद्देश्य केवल योजनाओं का क्रियान्वयन नहीं, बल्कि यह सुनिश्चित करना है कि अंतिम व्यक्ति तक उसका लाभ पहुंचे।
बैठक के दौरान कलेक्टर ने “धरती आबा“ कार्यक्रम की तैयारियों की समीक्षा करते हुए कहा कि कल 17 जून से प्रारंभ हो रहे शिविरों का आयोजन समयबद्ध और प्रभावी ढंग से किया जाए। जनपद स्तर के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को निर्देशित किया गया कि वे अपने क्षेत्र में शिविरों की निगरानी स्वयं करें एवं हितग्राहियों को समय पर योजना का लाभ मिलना सुनिश्चित करें। सहायक आयुक्त आदिवासी विकास ने मंडल संयोजकों को निर्देश दिए कि सभी आवश्यक दस्तावेज और योजनाओं की जानकारी शिविर स्थल पर उपलब्ध होनी चाहिए। हितग्राहियों की उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए पूर्व से सूचना प्रचार-प्रसार कराया जाए। उल्लेखनीय है कि जिले के 306 ग्रामों के जनजातीय समुदायों तक सरकारी योजनाओं और सेवाओं की पहुंच सुनिश्चित करने जागरूकता व लाभ शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। जिले में पहले दिन 17 जून को महासमुंद विकासखंड अंतर्गत ग्राम रुमेकेल, बागबाहरा अंतर्गत ग्राम टेढ़ीनारा, पिथौरा अंतर्गत गोपालपुर में एवं सरायपाली विकासखंड अंतर्गत ग्राम पंचायत डूडूमचुंवा में शिविर लगाया जाएगा।
कलेक्टर ने की पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की समीक्षा,आवास एवं महतारी सदन को शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश
पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की योजनाओं की समीक्षा के दौरान कलेक्टर ने कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना, महतारी सदन आदि में प्रगति धीमी नहीं होनी चाहिए। अपूर्ण आवासों को शीघ्र पूर्ण कराने हेतु लक्षित प्रयास किए जाएं। संबंधित अधिकारियों को जवाबदेह बनाते हुए मॉनिटरिंग की व्यवस्था सख्त करने के निर्देश दिए गए। महतारी सदन के निर्माण कार्यों की समीक्षा करते हुए जिला पंचायत सीईओ ने कहा कि जिन पंचायतों में महतारी सदन अधूरे हैं, उन्हें प्राथमिकता पर लेकर तत्काल पूर्ण करें। उन्होंने कहा कि यह महिला सशक्तिकरण से जुड़ी महत्वपूर्ण पहल है, अतः किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इस अवसर पर जनपद पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी एवं निर्माण एजेंसी के अधिकारी मौजूद थे।
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महासमुंद : छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य सन्निर्माण कर्मकार कल्याण मंडल द्वारा रायपुर के नवीन सर्किट हाउस, सिविल लाइंस में आज आयोजित चेक वितरण कार्यक्रम में मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। मुख्यमंत्री श्री साय ने अपने संबोधन में कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार समाज के प्रत्येक वर्ग, विशेषकर श्रमिकों, विद्यार्थियों और महिलाओं के कल्याण एवं सशक्तिकरण के लिए निरंतर कार्य कर रही है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि शासन की जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ पारदर्शिता और तत्परता के साथ सभी पात्र हितग्राहियों तक पहुँचे, यह सुनिश्चित करना उनकी प्राथमिक जिम्मेदारी है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने महासमुंद जिले के तीन हितग्राहियों को राज्य शासन की विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत आर्थिक सहायता प्रदान की। उन्होंने दो हितग्राहियों को एक-एक लाख रुपये की सहायता राशि तथा एक हितग्राही को मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक पेंशन सहायता योजना के तहत प्रतिमाह 1500 रुपए की पेंशन का चेक प्रदान किया।कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक मृत्यु एवं दिव्यांग सहायता योजना के अंतर्गत अपंजीकृत निर्माण श्रमिक स्वर्गीय परमानंद ध्रुव की पत्नी श्रीमती दुर्गा बाई ध्रुव (नामिनी) को एक लाख रुपए की सहायता दी गई। यह सहायता श्रमिक के निधन के पश्चात उनके परिजनों को आर्थिक संबल और सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से दी गई है।
इसी कार्यक्रम में मुख्यमंत्री नोनी बाबू मेधावी सहायता योजना के तहत महासमुंद जिले की मेधावी छात्रा अंजली साहू को भी एक लाख रुपए की राशि का चेक प्रदान किया गया। यह योजना राज्य शासन द्वारा आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग की मेधावी बालिकाओं को उच्च शिक्षा हेतु सहयोग एवं प्रोत्साहन देने के उद्देश्य से संचालित की जा रही है। इसके अतिरिक्त मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक पेंशन सहायता योजना के अंतर्गत महासमुंद जिले के हितग्राही श्री मेखलाल साहू को प्रतिमाह 1500 रुपए की पेंशन सहायता राशि का चेक प्रदान किया गया। यह योजना राज्य शासन द्वारा ऐसे पंजीकृत निर्माण श्रमिकों के लिए संचालित की जाती है, जिन्होंने वर्षों तक श्रम कार्य करते हुए राज्य की प्रगति में योगदान दिया है और अब वृद्धावस्था या असमर्थता के कारण नियमित आजीविका अर्जन में कठिनाई का सामना कर रहे हैं। पेंशन सहायता का उद्देश्य इन श्रमिकों को वृद्धावस्था में आर्थिक संबल प्रदान करना एवं उन्हें गरिमामय जीवन जीने में सहयोग देना है। श्री मेखलाल साहू को यह पेंशन उनके श्रम योगदान एवं पात्रता के आधार पर प्रदान की गई है। इस अवसर पर श्रम विभाग के अधिकारी श्री डी. एन. पात्र एवं हितग्राही उपस्थित रहे।
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हर बच्चा पढ़े, हर बच्चा बढ़े यही है विकसित भारत का नींव - श्री येतराम साहू
स्कूल खुलने के पहले ही दिन प्राथमिक शाला बेमचा में मनाया गया शाला प्रवेशोत्सव
बच्चों का तिलक लगाकर व मिठाई खिलाकर किया गया स्वागत
महासमुंद : नए शिक्षण सत्र की शुरुआत आज हो गई है। नवप्रवेशित बच्चों को स्कूलों में तिलक लगाकर और मिठाई खिलाकर स्वागत किया गया। जहां बच्चे उत्साह के साथ शाला में प्रवेश किए। जिले के सभी ब्लॉक में शाला प्रवेशोत्सव मनाया जा रहा है। इसी क्रम में आज प्राथमिक शाला बेमचा में शाला प्रवेशोत्सव का आयोजन किया गया। यहां गणवेश, पुस्तक और नवप्रवेशी बच्चों को तिलक, रोली लगाकर स्वागत किया गया। इस अवसर मुख्य अतिथि कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह, जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक, जिला स्काउट गाइड के अध्यक्ष श्री येतराम साहू, जनपद सदस्य श्रीमती संगीता चंद्राकर, सरपंच श्री देवेन्द्र चंद्राकर, श्री आनंद साहू, श्री राहुल चंद्राकर, श्री रविकांत चंद्राकर, डीएमसी श्री रेखराज शर्मा सहित स्कूल के प्राचार्य, शिक्षक, बच्चे और पालकगण उपस्थित थे। इस अवसर पर एक पेड़ मां के नाम अभियान के तहत स्कूल परिसर में अतिथियों द्वार पौधरोपण किया गया।
कलेक्टर श्री लंगेह ने नवप्रवेशी विद्यार्थियों से आत्मीय संवाद किया और विद्यालय जीवन की नई शुरुआत के लिए उन्हें प्रोत्साहित किया। उन्होंने कहा कि हर बच्चे तक गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पहुंचे, यह हम सभी की जिम्मेदारी है। उन्होंने पालकों से आह्वान किया कि वे बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने हेतु संकल्प लें। कलेक्टर ने यह भी निर्देश दिए कि मध्याह्न भोजन योजना से कोई भी बच्चा वंचित न हो, और गणवेश वितरण की प्रक्रिया पूरी पारदर्शिता के साथ संपन्न की जाए। कलेक्टर ने शाला विकास समिति एवं पालकों से गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए सतत निगरानी करने का आग्रह किया। उन्होंने बच्चों से मोबाइल और टीवी से दूर रहने की समझाइश दी। स्कूल प्रबंधन को समय पर शाला खोलने, मध्यान्ह भोजन देने और निःशुल्क गणवेश वितरण के लिए निर्देश दिए।इस अवसर पर जिला स्काउट गाइड के अध्यक्ष श्री येतराम साहू ने कहा कि शाला प्रवेशोत्सव से बच्चों के मन में उत्साह का संचार होता है। राज्य सरकार प्राथमिक और मिडिल स्कूलों के विद्यार्थियों के लिए निःशुल्क पुस्तकें और गणवेश उपलब्ध कराती है ताकि स्कूल खुलने के पहले दिन से ही बच्चे अध्ययन में जुट जाए। उन्होंने कहा कि स्कूल ही बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए एक समुचित वातावरण प्रदान करता है। आज शाला प्रवेशोत्सव के पहले दिन बच्चों सहित उनके माता-पिता को भी बधाई देता हूं और सभी शिक्षकों से आशा करता हूं कि वे बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान कर उन्हें समाज में एक नई पहचान दिलायेंगे। उन्होंने कहा कि हमारे देश में यह परंपरा रही है कि हर खुशियों को त्यौहार के रूप में मनाते हैं। इसी तरह शाला प्रवेश भी एक उत्सव की तरह मनाया जाए। ताकि स्कूल का पहला दिन बच्चों को जीवन भर याद रहे। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय के निर्देश पर सभी बच्चों को क्वालिटी एजुकेशन मिले यह सुनिश्चित किया जाए।
इस अवसर पर जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक एवं डीएमसी श्री रेखराज शर्मा ने बच्चों को बधाई देते हुए कहा कि बच्चे मन लगाकर पढ़ाई करें और मोबाईल या अन्य गैजेट्स का कम से कम इस्तेमाल करें। उन्हांने शैक्षणिक कलेण्डर के अनुरूप गतिविधियों का संचालन करने के निर्देश भी दिए। पालकों से कहा कि सभी बच्चों को स्कूल भेजे जिससे ड्रॉप आउट रेट शून्य हो जाए। इस अवसर पर विगत परीक्षा में उत्कृष्ट उपलब्धि के लिए छात्रों को सम्मानित किया गया।
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महासमुंद : विश्व बुजुर्ग दुर्व्यवहार जागरूकता दिवस के अवसर पर समाजसेवी डॉ एकता लंगेह के मार्गदर्शन में आशियाना वृद्धाश्रम में वृद्धजनों संग जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस दौरान डा. एकता ने कहा कि बुजुर्गों के साथ दुर्व्यवहार एकल या बार-बार होने वाली घटना या उचित कार्रवाई की कमी के कारण किसी भी रिश्ते में घटित हो सकती है। कई परिवारों में बुजुर्गों पर बेतहाशा अत्याचार भी होता है और वक्त के साथ सब कुछ ठीक हो जाने की उम्मीद के साथ बुजुर्ग चुप रहते हैं। बहुत बार ऐसा होता है कि किसी बात का विरोध आदि करने पर उन्हें घर से निकाल दिया जाता है। बहुत से बुजुर्गों के साथ मारपीट तक की घटना होती है और आंखों में आंसू लेकर बुजुर्ग आसरा ढूंढते हैं। ऐसे में आशियाना की तरह का कोई आसरा मिल जाता है तो बुजुर्ग कुछ दिन और जी लेते हैं। यह हमारे संस्कार के खिलाफ है। होना तो यह चाहिए कि वृद्धाश्रम की जरूरत न पडे़। लेकिन वर्तमान में परिवार विभाजन की स्थिति को देते हुए वृद्धाश्रम बहुत जरूरी हो चुका है। यहां आकर आप सभी शांति से जीवन यापन कीजिये। यहां आपकी देखरेख में कोई कमी होती है, तो शासन प्रशासन उस कमी को पूरा करने के लिए तैयार है।
उन्होंने कहा कि यह एक वैश्विक सामाजिक मुद्दा है जो बुजुर्गों के स्वास्थ्य और मानव अधिकारों को प्रभावित करता है। इसके लिए ध्यान देने की आवश्यकता है साथ ही शोधकर्ताओं और कानूनी नियमों के अनुसार बुजुर्गों के साथ हो रहे पांच प्रकार के दुर्व्यवहारों मसलन शारीरिक, मनोवैज्ञानिक, भौतिक, शोषण, अपेक्षा और यौन हमले जैसे दुर्व्यवहारों को पहचान करने, समझने और उसके खिलाफ कार्रवाई करने के लिए हम सबको एक जुट होना पडेगा। कार्यक्रम में श्री विपिन मोहंती ने इसके महत्व को बताते हुए कहा कि जीवन प्रत्याशा में वृद्धि संयुक्त परिवार संरचना में गिरावट और सामाजिक विघटन के संयोजन ने वृद्ध व्यक्तियों को अकेलेपन और सावधानी का अनुभव कराया है। यह अनुशंसा की जाती है कि वृद्ध लोग शारीरिक गतिविधियों में शामिल होकर पौष्टिक आहार का सेवन करने और तंबाकू शराब और अन्य हानिकारक पदार्थों से परहेज करने स्वस्थ जीवन शैली बनाए रखें।
इस अवसर पर अतिथियां ने कहा कि बुजुर्ग आबादी किसी भी समाज के लिए एक मूल्यवान संपत्ति है। उम्र बढ़ना एक प्राकृतिक प्रक्रिया है जो अवसर और चुनौतियां दोनों लेकर आती है। 2011 की जनगणना के अनुसार भारत में 60 वर्ष और उससे अधिक आयु के 10.4 करोड़ लोग रहते हैं जो कुल जनसंख्या का 8.6 प्रतिशत है। इस जनसंख्या में महिलाओं की संख्या पुरुषों से ज्यादा है। जिसे सुरक्षित व संरक्षित रखना है। इस जागरूकता अभियान का ध्यान वृद्ध लोगों के प्रति सम्मान को बढ़ावा देने और उम्र के प्रति भेदभावपूर्ण रवैया को चुनौती देने पर केंद्रित होगा। सामाजिक दृष्टिकोण को बदलकर और उम्र के महत्व पर जोर देकर हम वृद्ध लोगों के लिए एक सुरक्षित और अधिक समावेशी समाज की दिशा में काम कर सकते हैं। हम वृद्धों के साथ दुर्व्यवहार को रोकने के लिए एक दिशा निर्धारित कर सकते हैं।
इस अवसर पर समाज कल्याण विभाग द्वारा बुजुर्गों को मिलने वाली शासन की विभिन्न योजनाओं से अवगत कराया। कार्यक्रम के पश्चात अतिथियों ने बुजुर्गों को कपड़े और आवश्यक सामग्री भेंट किया। सांस्कृतिक कार्यक्रम के बाद सभी ने बुजुर्गो संग भोजन किया। कार्यक्रम में स्वयंसेवी संस्था के सदस्य, आशियाना वृद्धा आश्रम व घरौंदा संस्था के समस्त सदस्य देखरेख में जुटी महिलाएं उपस्थित थीं। -
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पुलिस कार्यप्रणाली में उर्दू-फारसी के कठिन शब्दों की जगह होगी सरल हिंदी
महासमुंद : प्रदेश की पुलिस व्यवस्था को और अधिक जन सुलभ, पारदर्शी और संवादात्मक बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। उपमुख्यमंत्री एवं गृहमंत्री श्री विजय शर्मा के निर्देश के पश्चात अब राज्य की पुलिस कार्यप्रणाली में प्रयुक्त होने वाले कठिन, पारंपरिक एवं आम नागरिकों की समझ से बाहर उर्दू-फारसी शब्दों को हटाकर उनकी जगह पर सहज और प्रचलित हिंदी शब्दों का उपयोग किया जाएगा।
उपमुख्यमंत्री श्री विजय शर्मा ने स्पष्ट रूप से कहा है कि आम नागरिक जब किसी शिकायत, अपराध सूचना अथवा अन्य कार्य से थाने जाता है, तो वह अक्सर पुलिस द्वारा दर्ज की गई एफआईआर या अन्य दस्तावेजों की भाषा को लेकर असमंजस में रहता है। अन्य भासाओ के शब्द आम लोगों के लिए अनजाने होते हैं, जिससे वे न तो अपनी बात ठीक से समझा पाते हैं और न ही पूरी प्रक्रिया को ठीक से समझ पाते हैं। उन्होंने कहा कि यदि पुलिस का उद्देश्य नागरिकों की सहायता और सुरक्षा है, तो उसकी भाषा भी ऐसी होनी चाहिए जो नागरिकों की समझ में आए और उनके विश्वास को बढ़ाए।
उपमुख्यमंत्री के निर्देशानुसार पुलिस महानिदेशक द्वारा सभी जिलों के पुलिस अधीक्षकों को एक आधिकारिक पत्र जारी किया गया है, जिसमें स्पष्ट रूप से निर्देशित किया गया है कि पुलिस की व्यवहारिक कार्यवाहियों में प्रयुक्त कठिन, पारंपरिक शब्दों को सरल और स्पष्ट हिंदी में बदला जाए। इसके लिए एक शब्द सूची भी तैयार की गई है, जिसमें पुराने कठिन शब्दों के स्थान पर उपयोग किए जाने योग्य सरल विकल्प सुझाए गए हैं।इस पत्र में यह भी निर्देशित किया गया है कि सभी अधीनस्थ अधिकारियों को इस विषय में अवगत कराया जाए तथा यह सुनिश्चित किया जाए कि यह आदेश केवल औपचारिकता भर न रहे, बल्कि इसका वास्तविक कार्यान्वयन प्रदेश की प्रत्येक पुलिस चौकी, थाने और कार्यालय में दिखे।
छत्तीसगढ़ पुलिस अब केवल कानून का पालन कराने वाली संस्था न होकर जनसंवाद का माध्यम भी बनेगी। भाषा के इस सरलीकरण से शिकायतकर्ता को अपनी बात स्पष्ट रूप से कहने, सुनने और समझने में सुविधा होगी। एफआईआर जैसी प्रक्रिया, जो अब तक केवल अधिवक्ताओं व पुलिस कर्मियों की समझ में आती थी, वह अब आम नागरिक के लिए भी बोधगम्य हो सकेगी।1 अदम तामील- सूचित न होना
2 इन्द्राज - टंकन
3 खयानत- हड़पना
4 गोश्वारा- नक्शा
5 दीगर- दूसरा
6 नकबजनी- सेंध
7 माल मशरूका, लूटी- चोरी गई संपत्ति
8 मुचलका- व्यक्तिगत बंध पत्र
9 रोजनामचा- सामान्य दैनिकी
10 शिनाख्त- पहचान
11 शहादत- साक्ष्य
12 शुमार- गणना
13 सजायाफ्ता- दण्ड प्राप्त
14 सरगना- मुखिया
15 सुराग- खोज
16 साजिश- षड्यंत्र
17 अदालत दिवानी- सिविल न्यायालय
19 फौजदारी अदालत- दांडिक न्यायालय
20 इकरारनामा- प्रतिज्ञापन
21 बनाम विक्रय- पत्रक
22 इस्तीफा - त्याग-पत्र
23 कत्ल- हत्या
24 कयास- अनुमान
25 खसरा क्षेत्र- पंजी
26 खतौनी- पंजी
27 गुजारिश - निवेदन
28 जब्त- कब्जे में लेना
29 जमानतदार- प्रतिभूति दाता
30 जमानत- प्रतिभूति
31 जरायम- अपराध
32 जबरन- बलपूर्वक
33 जरायम पेशा- अपराध जीवी
34 जायदादे मशरूका- कुर्क हुई सम्पत्ति
35 दाखिल खारिज- नामांतरण
36 सूद- ब्याज
37 हुजूर- श्रीमान/महोदय
38 हुलिया- शारीरिक लक्षण
39 हर्जाना क्षति- प्रतिपूर्ति
40 हलफनामा- शपथ-पत्र
41 दफा- धारा
42 फरियादी- शिकायतकर्ता
43 मुत्तजर्रर - चोट
44 इत्तिला नामा- सूचना पत्र
45 कलमबंद करना- न्यायालय के समक्ष कथन
46 गैरहाजिरी- अनुपस्थिति
47 चस्पा- चिपकाना
48 चश्मदीद- प्रत्यक्षदर्शी
49 जालसाजी- कूटरचना
50 जिला बदर- निर्वासन
51 जामा तलाशी- वस्त्रों की तलाशी
52 वारदात- घटना
53 साकिन- पता
54 जाय तैनाती- नियुक्ति स्थान
55 हाजा स्थान- परिसर
56 मातहत- अधीनस्थ
57 जेल हिरासत- कब्जे में लेना
58 फौती- मृत्यु सूचना
59 इस्तगासा- छावा
60 मालफड - जुआ का माल मौके पर बरामद होना
61 अर्दली- हलकारा
62 किल्लत मुलाजमान- कर्मगण की कमी
63 तामील कुनिन्दा- सूचना करने वाला
64 इमदाद- मदद
65 नजूल- राज भूमि
66 फरार- भागा हुआ
67 फीसदी- प्रतिशत
68 फेहरिस्त - सूची
69 फौत- मृत्यु
70 बयान- कथन
71 बेदखली- निष्कासन
72 मातहत- अधीन
73 मार्फत- द्वारा
74 मियाद- अवधि
75 रकबा- क्षेत्रफल
76 काश्तकार- कृषक
77 नाजिर- व्यवस्थापक
78 अमीन राजस्व- कनिष्ठ अधिकारी
79 राजीनामा- समझौता पत्र
80 वारदात- घटना
81 संगीन- गंभीर
82 विरासत- उत्तराधिकार
83 वसीयत- हस्तान्तरण लेख
84 वसूली- उगाही
85 शिनाख्त- पहचान
86 सबूत, साक्ष्य- प्रमाण
87 दस्तावेज- अभिलेख
88 कयास- अनुमान
89 सजा- दण्ड
90 सनद- प्रमाण पत्र
91 सुलहनामा- समझौता पत्र
92 अदम चौक- पुलिस असंज्ञेय हस्तक्षेप, अगोग्य अपराध की सूचना
93 कैदखाना- बंदीगृह
94 तफ्तीश/तहकीकात- अनुसंधान/जाँच/विवेचना
95 आमद/रवाना/रवानगी- आगमन, प्रस्थान
96 कायमी- पंजीयन
97 तेहरीर- लिखित या लेखीय विवरण
98 इरादतन- साशय
99 खारिज/खारिजी/रद्द- निरस्त/निरस्तीकरण
100 खून आलूदा, रक्त- रंजित/रक्त से सना हुआ
101 गवाह/गवाहन- साक्षी/साक्षी गण
102 गिरफ्तार/हिरासत- अभिरक्षा
103 तहत- अंतर्गत
104 जख्त, जख्मी, मजरूब- चोट/घाव घायल/आहत
105 दस्तयाब - खोज लेना/बरामत
106 मौका ए वारदात- घटना स्थल
107 परवाना- परिपत्र/अधिपत्र
108 फैसला- निर्णय
109 हमराह- साथ में -
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विद्यालयों में नवप्रवेशी बच्चों का हुआ स्वागत, बच्चों ने ली सेल्फीमहासमुंद : प्रदेशभर में शिक्षा को जनांदोलन का रूप देने और प्रत्येक बच्चे को स्कूल से जोड़ने के उद्देश्य से आज दिनांक 16 जून 2025 को शाला प्रवेश उत्सव 2025 का शुभारंभ हुआ। इस अवसर पर महासमुंद जिले के पीएम श्री बृजराज प्राथमिक शाला में प्रवेशोत्सव का विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। उनके साथ जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री एस. आलोक, जिला मिशन समन्वयक रेखराज शर्मा एवं स्कूल शिक्षा विभाग के अधिकारी उपस्थित रहे।
शाला प्रवेशोत्सव के दौरान कलेक्टर श्री लंगेह ने नवप्रवेशी विद्यार्थियों से आत्मीय संवाद किया और विद्यालय जीवन की नई शुरुआत के लिए उन्हें प्रोत्साहित किया। उन्होंने कहा कि शाला प्रवेश उत्सव केवल नामांकन का अवसर नहीं, बल्कि यह प्रत्येक बच्चे के उज्ज्वल भविष्य की पहली सीढ़ी है। उन्होंने कहा कि हर बच्चे तक गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पहुंचे, यह हम सभी की जिम्मेदारी है।
कलेक्टर श्री लंगेह ने शिक्षकों और पालकों से आह्वान किया कि वे बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने हेतु संकल्प लें। कलेक्टर ने यह भी निर्देश दिए कि मध्याह्न भोजन योजना से कोई भी बच्चा वंचित न हो, और गणवेश वितरण की प्रक्रिया पूरी पारदर्शिता के साथ संपन्न की जाए।विद्यालय प्रांगण में इस आयोजन को लेकर उत्सव जैसा माहौल रहा। बच्चों की मुस्कान, रंग-बिरंगे गुब्बारे और पारंपरिक वेशभूषा में सजे छात्रों ने इस दिन को शैक्षणिक पर्व में बदल दिया।
जिला पंचायत सीईओ श्री एस आलोक ने कहा कि शाला का पहला दिन हमेशा यादगार रहता है।इस दिन को खास बनाने के लिए और बच्चों को प्रेरित करने के लिए शाला प्रवेशोत्सव का आयोजन किया जाता है। पालकों को भी इसकी जानकारी हो जाती है कि अब बच्चे स्कूल जाएंगे,इसलिए इसकी तैयारी शुरू कर देते हैं । उन्होंने कहा कि सरकार बच्चों के शैक्षिक गुणवत्ता पर बहुत जोर दे रही है। जिला मिशन समन्वयक श्री रेखराज शर्मा ने सभी बच्चों और पालकों को बधाई दी और कहा कि सभी पालक अपने बच्चों को स्कूल भेजें।कोई भी बच्चा स्कूल जाने से वंचित न रहे।
प्रधान पाठक श्रीमती गोमती साहू ने बताया कि प्राथमिक स्तर पर कुल 198 एवं मिडिल स्कूल में 120 बच्चे दर्ज हैं।इस अवसर स्कूल परिसर को विशेष रूप से सजाया गया था जिससे बच्चों और अभिभावकों को स्वागत का वातावरण महसूस हो। नवप्रेषित बच्चे गगन सिन्हा, डिंपल यादव, ईशान साहू, रूपाली साहू और यादराम साहू जैसे बच्चों ने अपने पहले स्कूल दिवस को यादगार बनाने के लिए सेल्फी ली और एक-दूसरे के साथ विद्यालय जीवन की शुरुआत का उत्सव मनाया।कार्यक्रम के अंत में अधिकारियों ने शाला विकास समिति के।सदस्यों एवं सभी पालकों से अपील की कि वे शिक्षा के इस महाअभियान में भागीदार बनें और अपने आसपास के हर बच्चे को विद्यालय से जोड़ें, ताकि कोई भी बच्चा शिक्षा के अधिकार से वंचित न रहे। शाला प्रवेश उत्सव एक सप्ताह तक जिले के विभिन्न विद्यालयों में उत्साह और ऊर्जा के साथ मनाया जाएगा।इस दौरान कलेक्टर ने स्कूल का निरीक्षण भी किया एवं आवश्यक निर्देश दिए।
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आदिवासी सशक्तिकरण के लिए जागरूकता व लाभ शिविरों का 17 से 30 जून तक होगा आयोजन
महासमुंद : आदिवासी समुदायों के समग्र विकास और सरकारी योजनाओं के लाभों की शत-प्रतिशत पहुँच सुनिश्चित करने हेतु जिला प्रशासन महासमुंद द्वारा “धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान के अंतर्गत 17 जून से 30 जून 2025 तक ग्राम स्तर पर जागरूकता एवं लाभ संतृप्ति शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने आज कलेक्ट्रेट परिसर में प्रचार रथ को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। यह रथ जिले में आयोजित होने वाले 34 शिविरों में जाएगी। इस अवसर पर जिला पंचायत सीईओ श्री एस आलोक,अपर कलेक्टर श्री रवि साहू,सहायक आयुक्त शिल्पा साय,नीलेश खांडे सहित विभागीय कर्मचारी मौजूद थे।
शासन के निर्देशानुसार इन शिविरों में विशेष पिछड़ी जनजाति समूह के चिन्हांकित गांवों में विभिन्न विभागीय सेवाओं और कल्याणकारी योजनाओं का सीधा लाभ प्रदान किया जाएगा। कलेक्टर ने जनपद के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को शिविर के सफल संचालन के लिए जिम्मेदारी दी गई है।
इन शिविरों का उद्देश्य विशेष रूप से जनजातीय समुदायों तक सरकारी योजनाओं और सेवाओं की पहुंच सुनिश्चित कर उन्हें सशक्त बनाना है। प्रत्येक चयनित ग्राम में ग्राम स्तरीय शिविरों के माध्यम से विभिन्न सुविधाएं और प्रमाण पत्र सांकेतिक रूप से उपलब्ध कराए जाएंगे। जिसमें पहचान व सामाजिक सुरक्षा के लिए हितग्राहियों का आधार कार्ड, राशन कार्ड, आयुष्मान भारत कार्ड, जाति व निवास प्रमाण पत्र बनाया जाएगा। कृषि व वित्तीय सहायता के लिए किसान क्रेडिट कार्ड, मुद्रा ऋण, पीएम-किसान पंजीयन व जन धन खाता खोला जाएगा, बीमा योजनाओं से लाभान्वित करने हेतु प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना एवं प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा किया जाएगा तथा वृद्धावस्था पेंशन, विधवा पेंशन, दिव्यांग पेंशन के लिए पात्र हितग्राहियो का चयन कर लाभान्वित किया जाएगा। इसी प्रकार रोजगार व आजीविका से जोड़ने के लिए मनरेगा, पीएम-विश्वकर्मा योजना में पंजीकृत किया जाएगा तथा गर्भवती महिलाओं एवं बच्चों के स्वास्थ्य, पोषण हेतु प्रधानमंत्री मातृत्व वंदना योजना का लाभ, आंगनबाड़ी लाभ व टीकाकरण की सुविधा दी जाएगी। इन शिविरों में स्वास्थ्य कार्यकर्ता, मितानिन, पटवारी, मनरेगा अधिकारी, कृषि विभाग के कर्मचारी, छात्रावास अधीक्षक, महिला एवं बाल विकास विभाग के पर्यवेक्षक, पेंशन विभाग प्रतिनिधि, ग्राम सचिव, आधार ऑपरेटर आदि मौजूद रहेंगे।
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महासमुंद : रायपुर संभाग के संभागायुक्त श्री महादेव कावरे द्वारा आज शाला प्रवेश उत्सव 2025 के पूर्व विद्यालयों की तैयारियों की जमीनी स्तर पर जायजा लेने हेतु बागबाहरा विकासखंड के विभिन्न शासकीय विद्यालयों का निरीक्षण किया गया।निरीक्षण के दौरान उन्होंने शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बकमा में पाठ्यपुस्तकों की उपलब्धता, पुस्तक स्कैनिंग की स्थिति, शिक्षकों की उपस्थिति, कक्षों एवं विद्यालय परिसर की साफ-सफाई संबंधी व्यवस्थाओं का अवलोकन कर आवश्यक निर्देश प्रदान किए। तत्पश्चात उन्होंने शासकीय प्राथमिक शाला कसेकेरा का निरीक्षण कर विद्यार्थियों को वितरित गणवेश, मध्यान्ह भोजन की गुणवत्ता, कक्ष में टीएलएम (शैक्षणिक सहायक सामग्री), 'जादुई पिटारा', एवं पेयजल व्यवस्था की स्थिति की जानकारी ली तथा गणवेश की गुणवत्ता का प्रत्यक्ष निरीक्षण कर संतोष व्यक्त किया।
शासकीय पूर्व माध्यमिक विद्यालय कसेकेरा में उन्होंने विद्यालय में संचालित प्रोजेक्ट कार्य, स्मार्ट क्लास, पुस्तकालय, ऑडियो सिस्टम एवं किचन गार्डन की प्रगति की जानकारी प्रधान पाठक श्री विजय शर्मा से प्राप्त की तथा विद्यालय की कार्यप्रणाली पर प्रसन्नता व्यक्त की।संभागायुक्त श्री कावरे ने विद्यालयीन अधिकारियों को निर्देशित किया कि शाला प्रवेश उत्सव के अवसर पर विद्यार्थियों की अधिकतम उपस्थिति सुनिश्चित की जाए तथा सभी शालाओं में आवश्यक सुविधाओं की उपलब्धता समयबद्ध रूप से सुनिश्चित की जाए।इस अवसर पर एसडीएम श्री उमेश कुमार साहू, डीएससी श्री रेखराज शर्मा, तहसीलदार श्री जुगल पटेल, विकासखंड शिक्षा अधिकारी श्री के.के. वर्मा, विकासखंड स्रोत समन्वयक श्रीमती भूपेश्वरी साहू, एबीईओ श्री रामता मन्नाडे, डॉ. विजय शर्मा सहित अन्य अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।
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महासमुंद : कलेक्टर श्री विनय लंगेह के मार्गदर्शन एवं अध्यक्षता में महासमुंद जिले में आदिम जाति विकास विभाग अंतर्गत छात्रावास अधीक्षक श्रेणी ‘द’ से श्रेणी ‘स’ में पदोन्नत हुए अधीक्षकों की काउंसलिंग 14 जून ,शनिवार को सफलतापूर्वक संपन्न की गई। यह काउंसलिंग राज्य शासन के निर्देशों के तहत जिला स्तरीय समिति द्वारा पारदर्शी एवं नियमानुसार संपादित की गई। काउंसलिंग कार्यक्रम में जिला पंचायत सीईओ श्री एस. आलोक एवं सहायक आयुक्त आदिवासी विकास श्रीमती शिल्पा साय,महिला बाल विकास विभाग,समिति सदस्य के रूप में उपस्थित रहीं। इस अवसर पर सभी श्रेणी द से श्रेणी स में पदोन्नत हुए छात्रावास अधीक्षकगण एवं विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।
जिले में कुल 46 पदों में से 34 पदों की काउंसलिंग सफलता पूर्वक की गई, जबकि अतिशेष 12 अधीक्षकों की सूची संभाग स्तरीय समिति को अग्रेषित की जाएगी।काउंसलिंग प्रक्रिया में शासन द्वारा निर्धारित सभी मापदंडों का पालन किया गया, जिसमें अधीक्षक पति-पत्नी की पदस्थापना, चिकित्सा कारणों से स्थानांतरण की आवश्यकता, दिव्यांग, विधवा, परित्यक्ता एवं एकल महिलाओं को प्राथमिकता दी गई। जिला स्तरीय समिति ने यह भी सुनिश्चित किया कि न्यायालयीन प्रकरणों, शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में रिक्त पदों के संतुलन तथा अनुसूचित एवं गैर-अनुसूचित क्षेत्रों के बीच समुचित समायोजन को ध्यान में रखकर प्रस्ताव तैयार किया जाए। जिन अधीक्षकों ने स्वेच्छा से अन्य जिलों में पदस्थापना हेतु आवेदन दिया है, उनसे तीन वैकल्पिक जिलों का चयन प्राप्त कर प्रस्ताव संभाग स्तरीय समिति को भेजा गया है। वहीं, जो अधीक्षक संभाग के बाहर पदस्थापना के इच्छुक हैं, उनके प्रस्ताव राज्य स्तरीय समिति को प्रेषित किए जा रहे हैं। इस अवसर पर कलेक्टर श्री विनय लंगेह ने इस अवसर पर कहा कि शासन की मंशा अनुरूप पारदर्शिता, प्राथमिकता और पात्रता के आधार पर पदस्थापना सुनिश्चित की जा रही है, जिससे विभागीय कार्यों में सुगमता एवं सेवा गुणवत्ता में वृद्धि होगी।
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सांसद रूपकुमारी चौधरी ने कहा _आज की सबसे बड़ी जरूरत है जैविक खेती
महासमुंद : जिले में किसानों को जैविक खेती की ओर प्रेरित करने एवं उन्नत जैविक तकनीकों की जानकारी देने के उद्देश्य से जिला स्तरीय जैविक कृषि मेला सह कृषक-वैज्ञानिक परिचर्चा का आयोजन आज बागबाहरा विकासखण्ड के ग्राम बोडराबांधा स्थित माध्यमिक शाला परिसर में किया गया।कार्यक्रम की मुख्य अतिथि महासमुंद लोकसभा सांसद श्रीमती रूपकुमारी चौधरी रहीं। विशेष अतिथि के रूप में जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्री भीखम सिंह ठाकुर, अपर कलेक्टर श्री रवि राज ,ठाकुर कृषि विभाग के वरिष्ठ अधिकारीगण, कृषि वैज्ञानिक, जनप्रतिनिधिगण, जैविक खेती से जुड़े विशेषज्ञ, गणमान्य नागरिक एवं बड़ी संख्या में कृषक सम्मिलित हुए। इस अवसर पर मुख्य अतिथि श्रीमती रूपकुमारी चौधरी ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि रासायनिक खेती ने उत्पादन तो बढ़ाया है, लेकिन भूमि की उर्वरता को हानि भी पहुंचाई है। अब समय आ गया है कि हम प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण करते हुए जैविक खेती को अपनाएं। जैविक खेती न केवल पर्यावरण को संरक्षित करती है, बल्कि स्वास्थ्य के लिए भी अत्यंत लाभकारी है। हमारी सरकार किसानों को जैविक खेती की दिशा में आत्मनिर्भर बनाने के लिए निरंतर कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि किसान रसायनिक खाद के उपयोग को जगह धीरे धीरे जैविक और प्राकृतिक खाद का उपयोग व्यवहार में लाएं।इससे मिट्टी की उर्वरता बनी रहेगी। उन्होंने कहा कि उत्पादन के साथ मिट्टी को भी बचाना है।
जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्री भीखम सिंह ठाकुर ने कहा कि जैविक खेती के क्षेत्र में छत्तीसगढ़ को अग्रणी राज्य बनाना हमारा लक्ष्य है। इसके लिए कृषि विभाग, वैज्ञानिक समुदाय और किसानों के बीच समन्वय अत्यंत आवश्यक है। इस मेले से किसानों को जैविक खाद, कीट नियंत्रण विधियों, बीज चयन एवं विपणन की बेहतर जानकारी मिली है। इस मौके पर आयोजित कृषक-वैज्ञानिक परिचर्चा में कृषि विज्ञान केंद्र महासमुंद एवं जैविक खेती से जुड़े विशेषज्ञों ने किसानों को जैविक खाद निर्माण, कीट प्रबंधन, फसल चक्र, जैव उर्वरक उपयोग, बाजार से जोड़ने की रणनीति आदि विषयों पर विस्तृत जानकारी दी।
कृषि विभाग की ओर से बीज मिनी कीट वितरण
उप संचालक कृषि श्री एफ.आर. कश्यप ने बताया कि मेले के दौरान किसानों एवं कृषक समूहों को जैविक खेती से संबंधित सामग्री, मिनी किट, बीज एवं कीट नियंत्रण किट का निःशुल्क वितरण किया गया। साथ ही विभिन्न योजनाओं की जानकारी देकर किसानों को प्रोत्साहित किया गया। कृषि मेला परिसर में विभिन्न विभागों, स्टार्टअप्स एवं कृषक उत्पादक कंपनियों द्वारा प्रदर्शनी स्टॉल भी लगाए गए, जहां जैविक उत्पाद, खाद-बीज, कृषि यंत्र एवं नवाचारों की जानकारी दी गई। बड़ी संख्या में किसानों ने इन स्टॉल्स का अवलोकन किया और विशेषज्ञों से प्रत्यक्ष संवाद किया।
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सत्रारंभ की तैयारियों को लेकर संकुल समन्वयकों की बैठक संपन्न"शिक्षा की गुणवत्ता और नामांकन बढ़ाने में संकुल समन्वयकों की अहम भूमिका — कलेक्टर श्री लंगेह
महासमुंद : स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट हिंदी माध्यम विद्यालय महासमुंद के सभागार में सत्रारंभ की तैयारियों की समीक्षा हेतु जिले के समस्त संकुल समन्वयकों की बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने की। इस अवसर पर जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री एस. आलोक, जिला शिक्षा अधिकारी श्री विजय कुमार लहरे, डीएमसी श्री रेखराज शर्मा, सहायक संचालक श्री नंदकुमार सिन्हा, एपीसी श्री डी.एन. जांगड़े, श्रीमती सम्पा बोस, श्रीमती विद्या साहू सहित सभी ब्लॉकों के एबीईओ एवं बीआरसीसी उपस्थित रहे।
बैठक को संबोधित करते हुए कलेक्टर श्री लंगेह ने कहा कि शाला त्यागने वाले बच्चों को पुनः विद्यालय से जोड़ना संकुल समन्वयकों की प्रमुख जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा कि शाला प्रवेश उत्सव को जनआंदोलन का रूप दिया जाना चाहिए ताकि समुदाय की भागीदारी से शिक्षा की गुणवत्ता में वास्तविक सुधार हो सके। उन्होंने छात्र सुरक्षा, स्वास्थ्य और सभी शैक्षिक आवश्यकताओं की पूर्ति पर विशेष बल देते हुए नामांकन में वृद्धि और शत-प्रतिशत प्रवेश सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।कलेक्टर श्री लंगेह कहा कि विद्यालयों को प्रदत्त अनुदान राशि का त्वरित एवं पारदर्शी उपयोग सुनिश्चित किया जाए। अपार आईडी, जाति प्रमाण पत्र निर्माण, पाठ्यपुस्तक वितरण की नियमित समीक्षा की जाए ताकि हर विद्यार्थी तक समय पर आवश्यक शैक्षिक संसाधन पहुँच सकें।
सीईओ जिला पंचायत श्री एस. आलोक ने कहा कि हर बच्चे का विद्यालय से जुड़ाव बनाए रखना आवश्यक है। उन्होंने संकुल समन्वयकों को एकजुट होकर टीम भावना से कार्य करने की प्रेरणा दी, जिससे शैक्षिक प्रणाली अधिक प्रभावी और उत्तरदायी बन सके।
जिला शिक्षा अधिकारी श्री विजय कुमार लहरे ने संकुल समन्वयकों की भूमिका को अत्यंत महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की नींव विद्यालय स्तर पर ही रखी जाती है। उन्होंने सभी संकुल समन्वयकों से शत-प्रतिशत नामांकन, व्यवस्था सुधार (जैसे रंग-रोगन, विद्युत, पेयजल आदि) को समय पर पूर्ण करने के निर्देश दिए।
डीएमसी श्री रेखराज शर्मा ने कहा कि शासन के निर्देशानुसार छात्र-छात्राओं को पाठ्यपुस्तकों का वितरण स्कैनिंग प्रक्रिया के बाद ही किया जाना है, जिसकी जिम्मेदारी संकुल समन्वयकों को दी गई है। इसके लिए उन्हें तकनीकी प्रशिक्षण भी प्रदान किया गया है। उन्होंने “एक पेड़ माँ के नाम” अभियान सहित इको क्लब, यूथ क्लब गठन और जून से सितंबर तक चलने वाले वृहद वृक्षारोपण कार्यक्रमों को प्राथमिकता से पूर्ण करने पर बल दिया।
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कर्मचारी संघों की मांग को संवेदनशीलता से निराकरण किया जाएगा
महासमुंद : कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह की अध्यक्षता में आज जिला कार्यालय के सभाकक्ष में जिला स्तरीय परामर्शदात्री समिति की बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में छत्तीसगढ़ प्रदेश तृतीय एवं चतुर्थ वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ सहित विभिन्न विभागीय कर्मचारी संगठनों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। बैठक में कर्मचारियों ने अपनी-अपनी विभागीय समस्याएं एवं मांगें प्रस्तुत की, जिन पर कलेक्टर द्वारा गंभीरतापूर्वक विचार कर संबंधित अधिकारियों को आवश्यक निर्देश जारी किए गए। बैठक में जिला पंचायत सीईओ श्री एस आलोक, अपर कलेक्टर श्री रवि कुमार साहू, डिप्टी कलेक्टर श्री आशीष कर्मा एवं सीएमएचओ डॉ. पी. कुदेशिया जिला शिक्षा अधिकारी श्री विजय लहरें मौजूद थे।
बैठक में कलेक्टर श्री लंगेह ने कहा कि हम सभी का दायित्व का है कि सेवा भाव से शासन की योजनाओं के क्रियान्वयन में पूर्ण निष्ठा से कार्य करें। उन्होंने सेवानिवृत्त कर्मचारियों के पीएफ, ग्रेच्युटी एवं अन्य देयों के लंबित भुगतान एवं सत्यापन में विलंब की समस्या पर सभी कार्यालय प्रमुखों को निर्देशित किया कि सेवानिवृत्ति के 6 माह पूर्व सभी दस्तावेजीय औपचारिकताएं पूर्ण की जाएं। साथ ही उन्होंने यह स्पष्ट किया कि सेवानिवृत्ति उपरांत यदि कोई अधिकारी या कर्मचारी का पीएफ, ग्रेच्युटी या अन्य प्रकरण में धनराशि की मांग करता है तो उसके विरुद्ध कड़ी अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाएगी।
बैठक में कर्मचारी संघों द्वारा कर्मचारियों की सेवा पुस्तिका का नियमित सत्यापन, शासकीय कार्य हेतु यात्रा भत्ता का समय पर भुगतान, व्यवस्था बदली कर पदस्थ कर्मचारियों को मूल संस्थाओं में वापस करने, सभी स्कूलों में स्वीपर की नियुक्ति, ऑनलाइन कार्यों की अधिकता को सीमित करने तथा डेटा और संसाधन भत्ता प्रदान करने, कक्षा 1 से 8 तक के विद्यार्थियों को निःशुल्क जाति प्रमाण पत्र उपलब्ध कराना तथा शिक्षकों को इस कार्य से मुक्त करने, विभागीय निर्देशों के लिए लिखित आदेश अनिवार्य करने एवं कर्मचारियों की समस्याओं के त्वरित निराकरण हेतु नोडल अधिकारियों की नियुक्ति करने पर चर्चा की गई। साथ ही आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिका की एकमुश्त राशि भुगतान, स्थानांतरण, साज सज्जा एवं पोषण के संबंध में, राजस्व पटवारी संघ द्वारा वेतन विसंगति, मेडिकल अवकाश, दस्तावेज त्रुटि, गोपनीय प्रविष्टि जैसी समस्या तथा स्वास्थ्य विभाग से संबंधित विभिन्न विषयों पर भी विस्तार से चर्चा की गई।
जिस पर कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने कर्मचारी संघ की सभी मांगों को गंभीरता से सुना और कहा कि शासकीय कर्मचारियों से संबंधित दस्तावेजों के सत्यापन कार्य में किसी भी प्रकार की लापरवाही नहीं होनी चाहिए। उन्होंने संबंधित विभागों को निर्देशित किया कि सभी प्रक्रियाएं निर्धारित समय-सीमा में और पूरी पारदर्शिता के साथ पूर्ण की जाएं। कलेक्टर ने यह भी आश्वस्त किया कि प्रशासन कर्मचारियों के हितों के प्रति पूर्णतः संवेदनशील है तथा वैधानिक और उचित मांगों पर शीघ्र और प्रभावी कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी।"कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह ने सभी कार्यालय प्रमुखों को निर्देशित किया कि विभागीय स्तर पर परामर्शदात्री समिति की बैठक प्रत्येक तीन माह में तथा जिला स्तर पर बैठक प्रत्येक छह माह में नियमित रूप से आयोजित की जाए।
बैठक में जिला अधिकारी कर्मचारी फेडरेशन के जिला संयोजक श्री टेकराम सेन, छत्तीसगढ़ प्रदेश तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ के जिलाध्यक्ष श्री ओम नारायण शर्मा, छत्तीसगढ़ लिपिक वर्गीय शासकीय कर्मचारी संघ के जिलाध्यक्ष श्री मुकेश कुमार साहू, राजस्व पटवारी संघ जिलाध्यक्ष श्री कमलेश डहरे, छत्तीसगढ़ सक्षम आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सहायिका कल्याण संघ जिलाध्यक्ष सुधा रात्रे, छत्तीसगढ़ शासकीय वाहन चालक/यांत्रिक कर्मचारी संघ के जिला अध्यक्ष श्री राजेश डउसेना, स्वास्थ्य एवं बहुउद्देशीय कर्मचारी संघ के जिला अध्यक्ष श्री दीपक तिवारी, छत्तीसगढ़ लघु वेतन शासकीय चतुर्थ वर्ग कर्मचारी संघ के जिलाध्यक्ष श्री उमेश कुमार साहू, छत्तीसगढ़ प्रदेश स्वास्थ्य कर्मचारी संघ, स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारी संघ छत्तीसगढ़ सहित अन्य संघ के प्रतिनिधि मौजूद थे। -
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महासमुंद : माननीय उच्च न्यायालय छत्तीसगढ़ के द्वारा पारित अंतरिम आदेश तथा छत्तीसगढ़ शासन, खनिज साधन विभाग के परिपत्र के परिपालन में खनिजों के अवैध उत्खनन / परिवहन / भण्डारण पर प्रभावी रोकथाम करने हेतु आदेशित किया गया है। कलेक्टर श्री विनय लंगेह के निर्देशानुसार राजस्व एवं खनिज विभाग द्वारा ग्राम घोड़ारी में अवैध उत्खनन की शिकायत प्राप्त होने पर संयुक्त रूप से आज शुक्रवार को ग्राम घोड़ारी पहनं. 33 रानिमं. तुमगांव तहसील महासमुंद स्थित खसरा नं. 06 रकबा 0.24 हेक्टेयर में क्षेत्र में श्रीमती सुभ्रदा यादव पति श्री रामाश्रय यादव के पक्ष में गौण खनिज फर्शीपत्थर हेतु स्वीकृत उत्खनिपट्टा का पंच गवाहो के समक्ष जांच किया गया। मौके पर स्वीकृत क्षेत्र को दर्शाने वाले कोआर्डीनेट के साथ सीमा स्तंभ लगे हुये पाया गया एवं तार फेसिंग होना पाया गया। खदान में उत्खनन कार्य स्थापित सीमा स्तंभ के एवं स्वीकृत नक्शे में चिन्हांकित भाग पर ही होना पाया गया।
उपरोक्त के अलावा स्वीकृत खदान के पश्चिम दिशा में 15 मीटर की दूरी पर नदी क्षेत्र के शासकीय भूमि पर फर्शीपत्थर का अवैध उत्खनन लगभग लंबाई 35 मीटर, चौड़ाई 17 मीटर एवं उंचाई 01 मीटर कुल 595 घनमीटर क्षेत्र में किया जाना पाया गया। उक्त अवैध उत्खनन ग्रामवासियों के अनुसार श्री संतोष यादव पिता श्री रामाश्रय यादव ग्राम घोड़ारी जिला महासमुंद के विरूद्ध द्वारा किया जाना बताया गया ।
अवैध फर्शीपत्थर उत्खनन में अवैध उत्खननकर्ता के विरूद्ध खान एवं खनिज (विकास और विनियमन) अधिनियमन 1957 की धारा 21 के 35 मीटर × 17 मीटर 01 मीटर = 595 घनमीटर में बाजार मूल्य एवं समझौता राशि सहित कुल 2,88,000.00 रूपये का अर्थदण्ड / समझौता राशि अधिरोपित किया जाना प्रस्तावित किया गया है।
खनिज अधिकारी श्री योगेंद्र सिंह ने बताया कि अवैध उत्खनन / परिवहनकर्ताओ के विरूद्ध इसी प्रकार कृत्य करने पर दण्डात्मक/एफआईआर की कार्यवाही की जायेगी। कलेक्टर श्री लंगेह के निर्देशानुसार जिले में अवैध उत्खनन / परिवहन/भण्डारण पर प्रभावी नियंत्रण हेतु खनिज अमला द्वारा विशेष अभियान चलाकर निरंतर जांच किया जावेगा